रहस्यमय विमान हादसे, जो बस अनसुलझी गुत्थी : ABP News



रहस्यमय विमान हादसे, जो बस अनसुलझी गुत्थी बनकर रह गए!
ABP News वेब डेस्क, गुरुवार, १३ मार्च २०१४

नई दिल्ली: फ्लाइट के दौरान अचानक लापता हो गए मलेशियाई एयरलाइन के विमान एमएच 370 का फिलहाल कहीं कोई सुराग नहीं है. विमानों के अचानक लापता हो जाने की ये कोई पहली घटना नहीं है. ऐसी  जब विमान राडार पर कोई संकेत छोड़े बिना अचानक कहीं लापता हो गया और जिसका कहीं कोई सुराग नहीं मिला. पेश हैं ऐसे 6  जो फ्लाइट के दौरान हुए और जिनके बारे में अब तक कहीं कोई जानकारी नहीं है.



एयर फ्रांस फ्लाइट 447
 2009 में रियो डि जेनेरियो से पेरिस जा रही एक एयरबस ए330 अटलांटिक महासागर में गायब हो गई. इस दुर्घटना में सभी 228 यात्री और चालक दल के सदस्यों की मौत हो गई. इस दुर्घटना में मारे गए लोगों के शवों और मलबे की खोज और बचाव कार्य दलों को वहां पहुंचने में पूरे 5 दिन लग गए थे. हादसे की वजह 3 वर्ष बाद सामने आई कि बर्फ के टुकड़ों के कारण ऑटोपायलट अलग हो गया था. इस दुर्घटना के 74 यात्रियों के शवों को अबतक निकाला नहीं जा सका है.



एमिलिया ईयरहार्ट का हादसा
 विमानन इतिहास की ये सबसे ज्यादा चर्चित घटना है जिसमें एक बहुत ही अनुभवी पायलट एमेलिया ईयरहार्ट अपने दो इंजनों वाले मोनोप्लेन समेत फ्लाइट के दौरान गायब हो गई थीं. यह दुर्घटना 1937 में प्रशांत महासागर में हुई थी. एमीलिय अपने विमान से दुनिया का चक्कर लगाने की कोशिश कर रही थीं. करोड़ों डॉलर की खोज के बाद भी अब तक न तो उनके विमान का कहीं कोई मलबा मिला और न एमीलिया का ही कुछ पता चला.  1939 में ईयरहार्ट को आधिकारिक तौर पर मृत घोषित कर दिया गया था.



फ्लाइंग टाइगर लाइन फ्लाइट 739
 1962 में गुआम से इस नाम की एक अमेरिकी सैन्य उड़ान भरी गई थी और विमान पर 90 से ज्यादा सैनिक सवार थे. ये लोग फिलीपींस जा रहे थे लेकिन ये फ्लाइट कभी ‍फिलीपींस नहीं पहच सकी. पूरे का पूरा विमान कहीं लापता हो गया. लापता होने से पहले पायलटों ने किसी खतरे या अस्वाभाविक गड़बड़ी की कोई सूचना नहीं दी. अमेरिकी सेना के 1300 लोगों ने इस विमान के मलबे की खोज की लेकिन अब तक न तो विमान के मलबे का कहीं कोई सुराग मिला और न ही विमान पर सवार सैनिकों की कोई जानकारी मिल सकी है. इस मामले में एक लाइबेरियन टैंकर शिप के चालक दल के सदस्यों का दावा है कि उड़ान के समय उन्होंने आसमान में 'बहुत ज्यादा चमकीली रोशनी' देखी थी लेकिन अमेरिकन सिविल एयरोनॉटिक्स बोर्ड का मानना है कि वो इस दुर्घटना के संभावित कारणों का पता लगाने में सफल नहीं रहा.



ब्रिटिश साउथ अमेरिकन एयरवेज
एंडीज पर्वतमाला पर गायब 1947 की इस उड़ान का कोई चिन्ह पाने के लिए 50 वर्ष से अधिक का समय लगा. इस उड़ान पर 11 लोग सवार थे. अर्जेंटीना के दो रॉक क्लाइम्बर्स ने 1998 में एंडीज पर विमान के इंजन का मलबा खोजा था और इसके बाद सैन्य अभियान में लोगों के शव भी पाए गए थे. कुछ लोगों का कहना है कि जब विमान माउंट तुपानगेटो से टकराया तब एक बर्फीला तूफान आ गया था जि‍समें विमान का मलबा और लोगों की लाशें दब गई थीं.



बरमूडा ट्रैंगिल
इस तथाकथित ''शैतानी त्रिकोण'' के विशाल समुद्र के उपर फैले आसमान में भी कई विमान फ्लाइट के दौरान लापता हुए हैं. ये त्रिकोण- फ्लोरिडा, प्यूरिटो रिको और बरमूडा-के बीच समुद्र में मौजूद है, बरमूडा ट्रैंगिल दुनियाभर में विमानों के रहस्यमय शिकारी के रूप में बदनाम है. दो ब्रिटिश साउथ अमेरिकन एयरवेज के पैसेंजर जेट्‍स बरमूडा ट्रैंगिल में 1948 और 1949 में गायब हो गए थे. इन विमानों में 51 से ज्यादा लोग सवार थे और इनके बारे में कहीं कोई पता नहीं चला. इसी तरह 1945 में 5 अमेरिकी बमवर्षक विमानों इस इलाके में एक प्रशिक्षण कार्यक्रम चला रहे थे लेकिन इनका भी कभी कोई पता नहीं चल सका. इन लोगों की खोज के लिए एक विमान में 13 सदस्यीय दल भेजा गया था लेकिन इस विमान का भी कोई पता नहीं चल सका था.



उरुग्वे एयर फोर्स फ्लाइट 571
1972 में चिला के सैंटियागो से एक विमान ने उड़ान भरी. इसमें 45 लोग सवार थे. खराब मौसम के कारण ये विमान हादसे का शिकार हो गया. इस हादसे में 12 लोगों की मौत हो गई थी. 72 दिनों तक अधिकारियों को जानकारी ही नहीं थी कि हादसे के शिकार कुछ यात्री अब भी जिंदा हैं. इस बीच विमान के मलबे में शरण लिए 8 लोगों की बर्फीले तूफान के कारण मौत हो गई. शेष 16 लोगों को जीवित रहने के लिए अपने मृत साथियों का मांस खाना पड़ा. विमान हादसे के दो महीने बाद इन लोगों के बारे में अधिकारियों को पता चला तब कहीं जाकर इन लोगों को बचाया जा सका.

टिप्पणियाँ

इन्हे भी पढे़....

सेंगर राजपूतों का इतिहास एवं विकास

हमारा देश “भारतवर्ष” : जम्बू दीपे भरत खण्डे

तेरा वैभव अमर रहे माँ, हम दिन चार रहें न रहे।

Veer Bal Diwas वीर बाल दिवस और बलिदानी सप्ताह

जन गण मन : राजस्थान का जिक्र तक नहीं

अटलजी का सपना साकार करते मोदीजी, भजनलालजी और मोहन यादव जी

इंडी गठबन्धन तीन टुकड़ों में बंटेगा - अरविन्द सिसोदिया

छत्रपति शिवाजी : सिसोदिया राजपूत वंश

खींची राजवंश : गागरोण दुर्ग

सफलता के लिए प्रयासों की निरंतरता आवश्यक - अरविन्द सिसोदिया