मोदी देश के प्रधानमंत्री हों - रामविलास पासवान
मोदी को देश के प्रधानमंत्री के रूप में देखना चाहता हूं : पासवान
IANS, मार्च 3, 2014
मुजफ्फरपुर: हाल में ही राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) में शामिल हुए लोक जनशक्ति पार्टी (एलजेपी) के अध्यक्ष रामविलास पासवान ने सोमवार को कहा कि वह भी मोदी को देश के प्रधानमंत्री के रूप में देखना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) जितना गठबंधन धर्म निभाती है, उतना गठबंधन धर्म कोई भी पार्टी नहीं निभाती।
मुजफ्फरपुर में भाजपा के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी की रैली में पूर्व केंद्रीय मंत्री पासवान ने लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि देश में नरेंद्र मोदी की आंधी चल रही है। उन्होंने कहा कि कल तक लालू प्रसाद और नीतीश कुमार उनकी तारीफ करते थे, लेकिन आज जब गठबंधन नहीं हुआ तो वे गाली देते हैं। उन्होंने कहा कि अब समय आ गया है कि जाति-पाति और मजहब के दायरे से निकलकर विकास की गंगा बहाई जाए। पासवान ने कहा कि बिहार के गांवों में आज लोग भूखे सो रहे हैं, गांवों में गरीबी है।
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आतंकियों के लिए बिहार की धरती स्वर्गभूमि बन गई है: नरेंद्र मोदी
By एबीपी न्यूज़ / सोमवार, ०३ मार्च २०१४नई दिल्ली: आज बिहार के मुजफ्फरपुर में पीएम पद के बीजेपी उम्मीदवार नरेंद्र मोदी की रैली को संबोधित कर रहे हैं. मंच पर मोदी के साथ लोक जनशक्ति पार्टी के अध्यक्ष रामविलास पासवान के साथ ही राष्ट्रीय लोक समत पार्टी (आरएलएसपी) के उपेंद्र कुशवाहा, और जेडीयू से आए जय नारायण निषाद भी मौजूद हैं. पिछले साल पटना के गांधी मैदान में मोदी की हुंकार रैली के दौरान हुए बम ब्लास्ट के बाद मोदी की यह पहली रैली है.
क्या बोल रहे हैं मोदी-
इस लाइन के साथ मोदी ने अपने भाषण को खत्म किया-
-सौगंद मुझे इस मिट्टी को मैं देश नहीं मिटने दूंगा
सौगंद मुझे इस मिट्टी को मैं देश नहीं लूटने दूंगा
मेरी धऱती मुझेसे पूछ रही, कब मेरा कर्ज चुकाओगे
मेरा अँबर पूछ रहा कब अपना फर्ज निभाओगे
मेरा वचन है भारत मां को तेरा शीष नहीं झुकने दूंगा
सौगंद मुझे इस मिट्टी को मैं देश नहीं मिटने दूंगा
-मोदी कहता है महंगाई रोको, वो कहते हैं मोदी रोको
मोदी कहता है अत्याचार रोको, वो कहते हैं मोदी रोको
मैं कहता हूं अन्याय रोको, वो कहते हैं मोदी रोको
विकास करना है, वो कहते है देश का विनाश करना है, यह निर्णय जनता को करना है.
-मैं इरादा लेकर आया हूं, हिंदुस्तान में कोई ऐसा नागरिक ना हो जिसे रहने के लिए छत ना हो. हम हर व्यक्ति के लिए घर बनाना चाहते हैं. ऐसा घर जिसमें शौचालय, पानी, बिजली हो. यह एनडीए और बीजेपी का सपना है.
-हमारे देश में पहले एक फैशन था, कोई बात हो तो बोलते थे तो कहते थे विदेशी शक्तियों का हाथ है. लेकिन पिछले कुछ सालों से थोड़ा बदल गया है अब यह फैशन है- सेक्युलरिज्म. रोजगार चाहिए, मंहगाई ज्यादा है, खाना नहीं, किसान परेशान है तो हर बात पर कहते हैं कि सेक्युलरिज्म खतरे में है.
-कुछ लोग खुद को गरीबों का मसीहा कहते हैं. पिछले 40 साल से 20सूत्रीय कार्यक्रम चलता है. सभी सरकारें इससे जुड़ी हुई हैं. पूरे हिंदुस्तान में बीजेपी की सरकारे हैं जो इस कार्यक्रम के इंप्लीटेशन में अव्वल रही हैं. कांग्रेस को इसमें कोई रूचि ही नहीं है. गरीबों का भला बीजेपी की प्राथमिकता है.
- आतंकवाद इस देश को तबाह कर रहा है. दुनिया के किसी भी कोने में मानवता का विरोधी है. नेपाल की सीमा आज संकट का कारण बनी हुई है. आतंकियों को छिंकने के लिए बिहार स्वर्गभूमि लगने लगी है. बिहार आतंकियों के लिए कठोर रवैया अपनाने को तैयार नहीं है. आतंकवाद के खिलाफ लड़ने के लिए देश को एक संकल्प होना चाहिए.
-आप मुझे बताइए बिहार की वर्तमान सरकार आपको रोजगार दे सकती है? क्या रोजगार के बिना जीवन चल सकती हैं? 2012 में आठ लाख पचास हजार लोगों ने बेरोजगारों के दफ्तर में अपने नाम दर्ज कराए. इतने बेरोजगारों में से सिर्फ दो हजार लोगों को नौकरी दी. जिन्हें नौजवानों की परवाह नहीं वह आने वाली पीढ़ी का भला नहीं कर सकती.
-सिर्फ 23 फीसदी लोगों के पास शौचालय है, सिर्फ 16 फीसदी लोगों को बिजली मिलती है, मोबाईल फोन है लेकिन चार्ज करने के लिए दूसरे गांव जाना पड़ता है. बिहार में बिजली जाती है ये खबर नहीं है, बिजली आना एक खबर है लेकिन गुजरात में इसके उलट हैं,
-आज भी हमारी माता-बहनों को शौचालय दिन के उजाले में नहीं जा सकती हैं, उन्हें रात के अंधेरे का इंतजार करना पड़ता है, आजादी के इतने साल बाद कम से कम मां-बहनों को शौचालय मिलना चाहिए या नहीं. मुझे बहुत पीड़ा होती है यह देखकर.
-थर्ड फ्रंट वाले देश की राजनीति बिगाड़ सकते हैं.
-कांग्रेस ने कभी अपने वादों को निभाया नहीं. जनता गलतियों को माफ करती हैं लेकिन हिपोक्रेसी को माफ नहीं करती है.
-एनडीए का मतलब है- नेशनल डेवलेपमेंट एलायंस. मैं रामविलास पासवान, उपेंद्र कुशवाहा और कैप्टन निषाद का स्वागत करता हूं अपने परिवार में. यह परिवार अब बढ़ता ही जाएगा.
-मैं जहां भी जाता हूं देश की समस्याओं के हल को ढ़ूढ़ने की कोशिश करता हूं. मेरे विरोधी मोदी का हल ढ़ूढ़ते हैं. इसलिए ये मानसिकता कभी देश का भला नहीं कर सकती. एनडीए देश का विकास कर रहा है.
-जब एनडीए की सरकार थी अटल बिहारी वाजपेयी हमारे प्रधानमंत्री के रूप में मैथिली भाषा को संविधान में देकर उसका सम्मान बढ़ाया था. यह हुंकार किसी को नीचा दिखाने के लिए नहीं है. यह हमारे अधिकारों के लिए आवाजा है. यह हुंकार देश पर राजनीतिक परिवर्तन की आकांक्षाओं को लेकर आया है, यह हुंकार बुराईयों से मुक्ति के लिए है.
- पटना में पिछले साल हुई बम धमाकों नेदेश को लूहुलुहान किया. यह राजनीतिक द्वेष का नतीजा था. भाजपा को सुरक्षा मिले या ना मिले लेकिन बेगुनाह नागरिकों को क्यों मारा जा रहा है. आखिर मरने वाले भी तो मेरे ही बिहार के भाई बहन थे. लेकिन वोट बैंक की राजनीति में डुबे हुएलोग इस दर्द को नहीं समझ सकते.
-ऐसी विचार धारा, ऐसे राजनेताओं से जितनी जल्दी मुक्ति मिलेगी, उतनी जल्दी देश का भला होने वाला है.
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