संदेश

ट्रूड़ो भारत में आराजकता फैलाने के षड्यंत्र बंद करें - अरविन्द सिसोदिया Khalistan to Canada

चित्र
India Canada Tension भारत सरकार और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर कनाडाई प्रधानमंत्री ट्रूड़ो के झूठे बयानों क़ी पोल खुलने के बाद कनाडा सरकार दबाव में आ गईं है। उसने एक्शन लेना प्रारंभ कर दिया है , कोलंबिया से खालिस्तानियों के बैनर पोस्टर हटाए जाएंगे। कनाडा सरकार ने खालिस्तानियों के बैनर पोस्टर हटाने के निर्देश दिए हैं। ------- ट्रूड़ो भारत में आराजकता फैलाने के षड्यंत्र बंद करें - अरविन्द सिसोदिया कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूड़ो, कनाडाई सिख पार्टी के कुछ खालिस्तान समर्थक सांसदों के समर्थन से अपनी सरकार चला रहे हैं और शीघ्र ही वहाँ की संसद के अगले चुनाव भी होनें हैं। इसलिए वे भारत की मोदी सरकार पर अनर्गल आरोप लगा कर, अपना वोट बैंक साधना चाहते हैं। किन्तु उन्हें अपनी स्वार्थ सिद्धि के लिए भारत में आराजकता उत्पन्न करंनें की अनुमति नहीं दी जा सकती। उनकी पार्टी की लोकप्रियता पिछले चुनावों में भी कम हुई थी और  सिख पार्टी के समर्थन से उनकी सरकार बची । अब वे उनके टूलकिट के आधार पर/ एजेंडे के आधार पर, वोट बैंक के लिए झूठे बयान दे रहे हैं। उनकी सरकार सत्य से, वास्तविकता से आँख मूँद कर षड्

25 सितम्बर जयंती पर विशेष : पंडित दीनदयाल उपाध्याय: एक युग-दृष्टा Pandit Deendayal Upadhyay

चित्र
Special on 25th September birth anniversary: Pandit Deendayal Upadhyay: A visionary of the era   पंडित दीनदयाल उपाध्याय: एक युग-दृष्टा कार्यकारी सारांश        पंडित दीन दयाल उपाध्याय एक जाने-माने अर्थशास्त्री, लेखक, संपादक, राजनीतिक वैज्ञानिक, पत्रकार, समाजशास्त्री, इतिहासकार, विचारक, नियोक्ता और दार्शनिक थे। उनका जन्म 25 सितंबर 1916 को मथुरा निवासी एक अत्यंत धार्मिक  परिवार में हुआ था। उनका मूलतः जन्म नाना के यहां हुआ था जो कि राजस्थान के जयपुर के निकट धानिक्या रेल्वे स्टेशन के स्टेशन मास्टर थे। पण्डित जी की जन्मस्थली पर एक गरिमामय स्मारक स्थापित है। वह बचपन से ही कुशाग्र बुद्धि के विद्यार्थी थे । उन्होंने कला में स्नातक  और साहित्य में परास्नातक की पढ़ाई की। वह जनसेवा करने के मन्तव्य से राजकीय सेवा से जुड़े किन्तु उन्होने शीघ्र ही न मात्र इसका परित्याग कर दिया बल्कि अपने समस्त उपाधियों के प्रमाणपत्रों को जला दिया क्योंकि वह जिस प्रकार की सामाजिक और राजनीतिक संरचना गढ़ना चाहते थे, राजकीय सेवा में रहते हुए उसे पूरा कर पाना संभव नहीं था।       दीनदयाल शासन और राजनीति के वैकल्पिक प्रारू

क्या कांग्रेस विधायक लक्ष्मणसिंह के प्रश्न का जबाव दे पायेंगे, केजरीवाल ?

चित्र
           क्या कांग्रेस विधायक लक्ष्मणसिंह के प्रश्न का जबाव दे पायेंगे, केजरीवाल ?  Will Kejriwal be able to answer the question of Congress MLA Laxman Singh? कांग्रेस से मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री रहे,राघोगढ़ के राजा साहब दिग्विजय सिंह के सगे छोटे भाई , वर्तमान में विधायक चाचौडा एवं पूर्व सांसद लक्ष्मणसिंह खीची नें।  Former Chief Minister of Madhya Pradesh from Congress, Raja Saheb of Raghogarh, younger brother of Digvijay Singh, currently MLA Chachauda and former MP Laxman Singh Khichi. आम आदमी पार्टी के प्रवक्ता एवं सांसद राघव चढडा और अभिनेत्री परिणीति चोपड़ा के विवाह समारोह पर खर्च हो रहे करोड़ों रूपयों को कालाधन करार देते हुए, प्रश्न उठाया है, और आप पार्टी के सर्वेसर्वा अरविन्द केजरीवाल से जबाव भी चाहा है।  Aam Aadmi Party spokesperson and MP Raghav Chadha has raised questions on the crores of rupees being spent on the wedding ceremony of actress Parineeti Chopra, terming them as black money, and has also sought answers from AAP party leader Arvind Kejriwal. यूं भी बडी ईमानदारी का ढ

भगवान कृष्ण का जलवा पूजन : डोल ग्यारस

चित्र
भगवान कृष्ण का जलवा पूजन भाद्रपद की परिवर्तिनी एकादशी 25 सितंबर 2023 को है. इस दिन भगवान विष्णु नींद में करवट बदलते हैं। परिवर्तिनी एकादशी डोल ग्यारस, पद्मा एकादशी और जलझूलनी एकादशी के नाम से भी प्रसिद्ध है। इस दिन जगत के पालनहार भगवान श्रीहरि विष्णु और धन की देवी मां लक्ष्मी की पूजा-उपासना की जाती है। डोल ग्यारस व्रत का महत्व - मान्यता है कि इस एकादशी का व्रत करने से वाजपेय यज्ञ के समान पुण्य-फल मिलता है। इस दिन व्रत करने से रोग-दोष आदि से मुक्ति मिलती है। व्यक्ति के जीवन में सुख-समृद्धि व मान-प्रतिष्ठा में वृद्धि होती है। इस दिन दान-पुण्य करने से सौभाग्य में वृद्धि होती है। कृष्ण जन्माष्टमी के पश्चात् आने वाली एकादशी को डोल ग्यारस बोलते हैं। श्रीकृष्ण जन्म के 18वें दिन माता यशोदा ने उनका जल पूजन (घाट पूजन) किया था। इसी दिन को ’डोल ग्यारस’ के तौर पर मनाया जाता है। जलवा पूजन के पश्चात् ही संस्कारों का आरम्भ होता है। कहीं इसे सूरज पूजा बोलते हैं तो कहीं दश्टोन पूजा बोला जाता है। जलवा पूजन को कुआं पूजा भी बोला जाता है। इस ग्यारस को परिवर्तिनी एकादशी, जलझूलनी एकादशी, वामन एकादशी आदि के

इंडिया गठबंधन सनातन धर्म को नष्ट करना चाहता है - जगतगुरु रामभद्राचार्य जी

चित्र
स्वामी रामभद्राचार्य बोले - सनातन धर्म को नष्ट करने की नीयत से बनाया गया इंडिया गठबंधन, उदयनिधि जल्द हो जाएंगे अस्तनिधि Rambhadracharya on India alliance Rambhadracharya Statement on India Alliance  सिवनी जिले में कथा कर रहे जगतगुरु स्वामी रामभद्राचार्य ने इंडिया गठबंधन को लेकर बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि यह गठबंधन सनातन धर्म को नष्ट करने की लिए बनाया गया है. लेकिन जो लोग ऐसा कह रहे हैं वे खुद मिट जाएंगे। जगतगुरु रामभद्राचार्य की सिवनी जिले में रामकथा चल रही है। कथा के अंतिम दिन जगतगुरु रामभद्राचार्य ने इंडिया गठबंधन को लेकर बड़ा बयान दिया है।" जगतगुरु स्वामी रामभद्राचार्य ने इंडिया गठबंधन को लेकर बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि यह गठबंधन सनातन धर्म को नष्ट करने की लिए बनाया गया है. लेकिन जो लोग ऐसा कह रहे हैं वे खुद मिट जाएंगे। रामभद्राचार्य जी ने कहा, कि यह जो इंडिया गठबंधन है वह सनातन धर्म को नष्ट करना चाहता है। यह घमंडी गठबंधन सनातन धर्म को नष्ट करने के उद्देश्य से बनाया गया है, लेकिन उनका सपना पूरा नहीं होगा।“ जगतगुरु स्वामी रामभद्राचार्य ने कहा कि ’’ देश

कनाडा में खालिस्तान , आतंकवाद का नया पाकिस्तान - अरविन्द सिसोदिया khalistani terrorism in canada

चित्र
कनाडा में खालिस्तान , आतंकवाद का नया पाकिस्तान  - अरविन्द सिसोदिया पहली बात तो भारत और कनाडा अभिन्न मित्र राष्ट्र कई दशकों से हैं, किन्तु वर्तमान प्रधानमंत्री ट्रूड़ो की सरकार को सत्ता में रहने के लिए, वहाँ कई सिख पार्टी के राजनैतिक समर्थन की आवश्यकता के कारण, कनाडा खालिस्तान समर्थक आतंकवाद का ट्रेनिंग केंम्प, केम्पन केंप और अघोषित मुख्यालय बन गया है। कनाडा में भारतीय मूल के लाखों की संख्या में सिख रहते हैं। जो मुख्यरूप से कनाडा में क़ृषिकार्य सहित बहुत सारे काम करते हैं। दूसरा कनाडा में लाखों भारतीय छात्र शिक्षा ग्रहण करते हैं। जिनमें लगभग आधे भारतीय हैं। तीसरे कनाडा से भारत बड़ी संख्या में टूरिस्ट आते हैं जो ज्यादातर केरल की यात्रा करते हैं. चौथा पंजाब और दिल्ली के सिखों की विदेशों में पहली पसंद कनाडा है। इस तरह से कनाडा से भारत के संबंध बिगड़ते हैं, तो कनाडा को भी बड़ा नुकसान होगा। समस्या इस तरह से है कि - जिस तरह भारत में कांग्रेस हमेशा वोट बैंक के कारण तुष्टिकरण की राजनीति करती रही और उससे एक वर्ग विशेष की गुंडागर्दी पूरे देश में सिरदर्द बन गई ,  पहले देश बंटा औ

अशोक गहलोत को चुनौती है कि वह एक बार राहुल गांधी को अयोध्या में रामलाल के दर्शन को लेकर जाएँ - हिमंता बिस्वा सरमा sanatan to cm visva

चित्र
* कोरोनाकाल में गहलोत जी ने फूड पेैकेट क्यों नहीं बांटे, चुनाव का इंतजार क्यों कर रहे थे * राजस्थान में पेट्रोल, डीजल, बिजली सभी असम राज्य से महंगा क्यों- हिमंता * सनातनी वोट मशीन में बटन दबाकर, सनातन अपमान का जवाब देगें "अशोक गहलोत को चुनौती है कि वह एक बार राहुल गांधी को अयोध्या में रामलाल के दर्शन को लेकर जाएँ "  -  हिमंता बिस्वा सरमा कोटा 21 सितंबर। भारतीय जनता पार्टी की परिवर्तन संकल्प यात्रा दो का समापन कोटा में आम सभा के साथ संपन्न हुआ, जिसमें मुख्य अतिथि के रूप में असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने संबोधित किया। असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने अपने संबोधन में कहा कि अभी चुनाव आने वाले हैं, राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, राहुल गांधी को मंदिर मंदिर ले जाएंगे, चुनाव के बाद यह मंदिर को भूल जाते हैं। उन्होंने कहा कि ये मंदिर भी नफा नुकसान देखकर जाते , इसमें जाना है इसमें नहीं जाना। मुख्यमंत्री बिस्वा नें कहा कि मैं अशोक गहलोत को चुनौती देता हूं कि वे राहुल बाबा को अयोध्या में श्री राम लाल के दर्शन करवाने ले कर जाएँ। उन्होंने कहां कि कांग्

घमंडिया गठबंधन में सनातन संस्कृति के विरुद्ध अपशब्द बोलनें की होड़ लगी है - पुष्कर सिंह धामी sanatan hindu snskrti

चित्र
पत्रकार वार्ता पुष्कर सिंह धामी घमंडिया गठबंधन में सनातन संस्कृति के विरुद्ध अपशब्द बोलनें की होड़ लगी है - पुष्कर सिंह धामी कोटा 21 सितंबर। भारतीय जनता पार्टी की परिवर्तन संकल्प यात्रा को संबोधित करने कोटा पहुंचे, उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कांग्रेस नेतृत्व वाले गठबंधन पर आरोप लगाते हुए कहा है कि " घमंडीया गठबंधन में होड लगी हुई है, कि  कौन सनातन संस्कृति को, सनातन हिंदू संस्कृति को अधिक से अधिक अपशब्द बोले, कौन ज्यादा नीचता पर जा सकता है।"  उन्होंने " उदयनिधि स्टालीन, कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मलिकार्जुन खरगे के पुत्र प्रियांक खरगे को कोड करते हुए कहा कि इन्होंने सनातन संस्कृति के विरुद्ध अभद्र टिप्पणीयां की, उसे समाप्त करने तक की बात की और गठबंधन के अन्य दल शांत रहते हैं, कांग्रेस नेतृत्व सोनिया गाँधी, कुछ नहीं बोलती, लालूजी कुछ नहीं बोलते, अन्य गठबंधन के साथी सारे के सारे चुप बैठे रहते हैं। यह सनातन विरोधी है। " उन्होंने अशोक गहलोत सरकार पर हिन्दू सनातन विरोधी होनें का आरोप लगाते हुए कहा कि "  राजस्थान तो सनातन हिन्दू संस्कृ

जो करके दिखायेगा, श्रेय भी वही पायेगा - अरविन्द सिसोदिया mahila aarakshan

चित्र
जो करके दिखायेगा, श्रेय भी वही पायेगा - अरविन्द सिसोदिया कांग्रेस कह रही है कि महिला आरक्षण बिल उसका है या नई संसद बनानें का आइडिया मीरा कुमार से समय का है। सवाल यह है कि सोचा विचारी का कोई खास असर नहीं होता, क्यों मुंगेरी लाल के हसीन सपने तो सभी देख ही सकते हैं। मगर उनका सच में बदला आसमान से पहाड़ तोड़ने जैसा होता है। नये संसद भवन के निर्माण की बात अनेकों बार आई मगर उसे साकार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदीजी नें ही किया, महिला आरक्षण बिल कई बार पेश हुआ, एक बार राज्यसभा में पारित भी हो गया, मगर लोक सभा में पारित नहीं हुआ, कानून नहीं बना। अब महिला आरक्षण बिल पास होता दिख रहा है। इसलिए श्रेय को लेकर घुड़दौड़ शिरु... कांग्रेस लाभ लपकना चाहती है। कांग्रेस कह रही है कि सोनिया गांधीजी नें चिट्ठी लिखी इसी से यह हो रहा है। चिट्ठीयों से बहूमत मिलतान कानून बनता। ये सब नौटंकियां हैं। कांग्रेस के खरगे कह रहे हैं कि  ओबीसी के लिए अलग से आरक्षण करो, अर्थात वे अभी भी अड़ंगा लगाना चाहते हैं। मोदीजी महिला आरक्षण बिल लाये हैं तो पास भी वे अपने बल बूते करवा लेंगे। श्रेय भी उन्ही को मिलेगा। मोदीजी नें ग

नई संसद में प्रवेश, ऐतिहासिक दिन - ऐतिहासिक बिल प्रस्तुत new sansad bhawan

चित्र
नई संसद में प्रवेश, ऐतिहासिक दिन -  ऐतिहासिक महिला आरक्षण बिल प्रस्तुत mhila Aarkshan bill  अग्रपूज्य गणेश जी के जन्मोत्सव गणेश चतुर्थी की पावन वेला में, भारत की लोकसभा और राज्यसभा , नये संसद भवन में  प्रवेश कर गए हैं। इसी के साथ पुराने भवन को बिदाई दे दी गईं है। आज 19 सितंबर को पुराने संसद भवन के बिदाई लेते समय,भारत की संसद की समृद्ध विरासत का जश्न मनाने के लिए  पुराने संसद भवन के केंद्रीय कक्ष में आयोजित एक समारोह को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदीजी नें कहा, ‘‘मेरा सुझाव है कि जैसा कि हम नए भवन में जा रहे हैं, इस इमारत की महिमा कभी कम नहीं होनी चाहिए। इसे सिर्फ पुरानी संसद नहीं कहा जाना चाहिए। इसे संविधान सदन का नाम दिया जा सकता है।'' लोकसभा और राज्यसभा के सदस्य मंगलवार को समारोह के लिए पुराने संसद भवन के ऐतिहासिक केंद्रीय कक्ष में एकत्र हुए थे । वहीं इसी तारीख में नये संसद भवन में लोक सभा और राज्य सभा, सदनों की बैठकों के द्वारा,  नये संसद भवन का शुभारंभ भी हुआ, लोकसभा में मोदीजी सरकार की और से महिला आरक्षण बिल पेश किया गया, जिस पर 20 सितंबर को पक्ष विपक्ष में

पुराने संसद भवन को संभाल कर रखा ही जाना चाहिए - अरविन्द सिसोदिया sansad bhawan

चित्र
पुराने संसद भवन को संभाल कर रखा ही जाना चाहिए - अरविन्द सिसोदिया snsad bhavn  19 सितंबर 2023 तक जो भारत का संसद भवन था वह अचानक पूर्व हो गया, देसी वासी भाषा में पुराना हो गया।  किन्तु यह भवन अपने आप में अनूठा है, क्योंकि इसमें भारतीयता है, यह इस तरह का एक मात्र संसदीय कार्यों का भवन है, विश्वभर में इसके जैसा या इससे अच्छा संसदीय कार्य का कोई भी भवन नहीं है। हलाँकि हमारे पुराने संसदीय भवन की मूल डिजाइन पूरी तरह से भारतीय दर्शन का सम्मान करता है, मध्यप्रदेश के मुरैना जिले के चौरासी जोगणीयों के मंदिर की डिजाइन ही इसकी डिजाइन है। यह लोकतंत्र का मंदिर ही साबित भी हुआ। इसमें 64 गोल खंभे, मध्य प्रदेश के मुरैना में योगिनी मंदिर से प्रभावित हैं, हालांकि इसका कोई आधिकारिक प्रमाण नहीं है। जब निर्माण अपने चरम पर था, 2,500 मूर्तिकार और राजमिस्त्री कार्यरत थे। माना जाता है कि इस भवन के निर्माण की अनुमति तत्कालीन ब्रिटिश सरकार से बहुत मुश्किल से मिली थी, अंग्रेज एक गुलाम देश पर इतनी बड़ी राशि खर्च नहीं करना चाहते थे, किन्तु जब उन्हें बताया गया कि भारत में लगभग 1000 रजबाड़े राज क