टू जी स्पेक्ट्रम : मोटी बिल्लियाँ कौन हैं...
- अरविन्द सीसोदिया
रविवार १२ दिसम्बर २०१० को रात्री ८ बजे तथा १३ दिसम्बर २०१० सुबह ४ बजे यह आया ..! इसमें न्यूज २४ चॅनल पर "दो टूक " के नाम से एक चर्चा आरही थी , इसमें एक सज्जन थे विश्व बन्धु गुप्ता , उनके कहने का सार था कि "यह घोटाला पहले के घोटालों से न केवल बड़ा है बल्कि इसमें मोटी बिल्ली पहली बार फंसी हैं ..! इससे पहले छोटी छोटी बिलियाँ फंसती रही हैं ..! इन मोटी बिल्लियों को बाँधने की रस्सी सिर्फ जे पी सी के पास है , जांच योग्य कई बड़ी बड़ी हस्तियों को सामान्य जांच एजेंसियां बुला तक नहीं सकती ! "
उन्होंने तो जो अन्य इशारे किये वे और भी खतरनाक हैं " जैसे की उनका कहना है की इस भ्रष्टाचार की रकम की आबाजाही ११ देशों में हुई है ,१३ विदेसी बैंक संलिप्त हैं " इस चर्चा में दुबई और अन्डर वल्ड जैसे शब्दों ने चौंका दिया है..! गुप्ता ने कहा राडिया पर ३०० करोड़ रुपया पकड़ा गया जो दाउद इब्राहीम का था ...? अब तो और भी पुख्ता शक होता जारहा है की जरुर बड़ी अपराधिकता इस मामले में छुपी हुई है ...?
अर्थात टू जी स्पेक्ट्रम का भ्रष्टाचार तो अब राष्ट्रद्रोह की ओर बढता दिख रहा है !!
--- यह सामने आना चाहिए की बड़ी बड़ी बिल्लियाँ कौन हैं ..!!
--- अंजना ओम कश्यप के द्वारा इस चर्चा में कांग्रेस के शकील , भा ज पा के शाहनबाज सपा के मोहन सिंह ओर मीडिया के अरिंदम इत्यादि सम्मिलित ...!
--- जब बोफोर्स के छोटे से कमीशन खोरी पर जे पी सी बनीं तो , यह तो इतनें बड़े घोटाले से जुड़ा मामला है ...! इसमें तो दाउद इब्राहीम तक का नाम आरहा है..!
---- मुख्य बाट जो है वह है की सरकार ने स्वंय भष्टाचार करे ओर वही जांच करें यह अव्यवहारिक है !
रविवार १२ दिसम्बर २०१० को रात्री ८ बजे तथा १३ दिसम्बर २०१० सुबह ४ बजे यह आया ..! इसमें न्यूज २४ चॅनल पर "दो टूक " के नाम से एक चर्चा आरही थी , इसमें एक सज्जन थे विश्व बन्धु गुप्ता , उनके कहने का सार था कि "यह घोटाला पहले के घोटालों से न केवल बड़ा है बल्कि इसमें मोटी बिल्ली पहली बार फंसी हैं ..! इससे पहले छोटी छोटी बिलियाँ फंसती रही हैं ..! इन मोटी बिल्लियों को बाँधने की रस्सी सिर्फ जे पी सी के पास है , जांच योग्य कई बड़ी बड़ी हस्तियों को सामान्य जांच एजेंसियां बुला तक नहीं सकती ! "
उन्होंने तो जो अन्य इशारे किये वे और भी खतरनाक हैं " जैसे की उनका कहना है की इस भ्रष्टाचार की रकम की आबाजाही ११ देशों में हुई है ,१३ विदेसी बैंक संलिप्त हैं " इस चर्चा में दुबई और अन्डर वल्ड जैसे शब्दों ने चौंका दिया है..! गुप्ता ने कहा राडिया पर ३०० करोड़ रुपया पकड़ा गया जो दाउद इब्राहीम का था ...? अब तो और भी पुख्ता शक होता जारहा है की जरुर बड़ी अपराधिकता इस मामले में छुपी हुई है ...?
अर्थात टू जी स्पेक्ट्रम का भ्रष्टाचार तो अब राष्ट्रद्रोह की ओर बढता दिख रहा है !!
--- यह सामने आना चाहिए की बड़ी बड़ी बिल्लियाँ कौन हैं ..!!
--- अंजना ओम कश्यप के द्वारा इस चर्चा में कांग्रेस के शकील , भा ज पा के शाहनबाज सपा के मोहन सिंह ओर मीडिया के अरिंदम इत्यादि सम्मिलित ...!
--- जब बोफोर्स के छोटे से कमीशन खोरी पर जे पी सी बनीं तो , यह तो इतनें बड़े घोटाले से जुड़ा मामला है ...! इसमें तो दाउद इब्राहीम तक का नाम आरहा है..!
---- मुख्य बाट जो है वह है की सरकार ने स्वंय भष्टाचार करे ओर वही जांच करें यह अव्यवहारिक है !
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