भाजपा के घोषणापत्र में विकास आगे



बीजेपी ने जारी किया चुनाव 2014 का घोषणा पत्र;
'ब्रांड इंडिया' तैयार करने का वादा, राम मंदिर मुद्दा भी शामिल

भाजपा के घोषणापत्र में राम मंदिर पीछे, विकास आगे
Mon, 07 Apr 2014
http://www.jagran.com/news/national-bjp-releases-manifesto-for-ls-polls-11216038.html
नई दिल्ली, आशुतोष झा। आम चुनाव के लिए आखिरी समय में भाजपा ने घोषणापत्र जारी कर दिया। इसमें फोकस इरादा और भरोसा पर रहा और मुद्दा विकास। दरअसल घोषणापत्र में ऐसा कुछ नहीं था, जो पिछले पांच-छह महीनों में भाजपा के प्रधानमंत्री उम्मीदवार नरेंद्र मोदी रैलियों में न बोल चुके हों।
पहले चरण के मतदान के साथ ही मोदी ने यह विश्वास दिलाया कि वह व्यक्तिगत रूप से अपने लिए कुछ भी नहीं करेंगे और न ही उनकी सरकार 'बद इरादे' से कुछ करेगी। पार्टी अध्यक्ष राजनाथ सिंह ने भरोसा दिलाया कि सरकार बनी तो घोषणापत्र का हर वादा पूरा होगा। संभवत: यही कारण है कि घोषणापत्र में पार्टी ने राम मंदिर जैसे कोर मुद्दे को पीछे छोड़ दिया, जिसे वह पहली सरकार में भी पूरा नहीं कर सकी थी। पार्टी ने इसे सांस्कृतिक विषय करार देते हुए एक पन्ने में निपटा दिया।
घोषणापत्र जारी करने में पिछड़ चुकी भाजपा ने सोमवार को पार्टी स्तर पर पूरी भरपाई कर ली। बीच-बीच में पार्टी के अंदर उभरते रहे मतभेद सोमवार को मंच पर पूरी तरह पाट लिए गए। मंच पर पूरा शीर्ष नेतृत्व मंच पर था। राजनाथ के अगल-बगल बैठे लालकृष्ण आडवाणी और नरेंद्र मोदी आपस में बातचीत कर हंसते दिखे। अंत में आडवाणी ने यह कहकर कार्यकर्ताओं का उत्साह बढ़ा दिया मोदी के बाद अब कुछ कहने की आवश्यकता नहीं है। जबकि, सुषमा ने भाजपा के चुनावी नारों की ही दोहराते हुए कहा कि अच्छे दिन आने वाले हैं।
सोमवार को पहले चरण का मतदान संपन्न हो गया। दो दिन बाद भाजपा उत्तर प्रदेश, बिहार, हरियाणा जैसे उन राज्यों में उतरने वाली है, जहां बहुत कुछ दांव पर लगा है। लिहाजा मोदी और राजनाथ संकेत देने से नहीं चूके। मोदी ने कहा, 'मैं यह विश्वास दिलाता हूं कि मुझे जो जिम्मेदारी दी जाएगी उसका पूरा वहन करूंगा, कभी अपने लिए कुछ नहीं नहीं करूंगा और बद इरादे से कोई काम नहीं किया जाएगा।' जाहिर तौर पर उन्होंने उनको संदेश दिया जो मोदी सरकार बनने पर भेदभाव की आशंका जता रहे हैं। उन्होंने कहा कि भाजपा का एक ही मूलमंत्र है-सबका साथ, सबका विकास। हम भारत को वह शक्ति बनाना चाहते हैं, जिसके बाद दुनिया आंख न दिखाए बल्कि आंख मिलाना चाहे।
तो राजनाथ ने बतौर अध्यक्ष कहा कि भाजपा अपने घोषणापत्र को संकल्प पत्र मान रही है और यह भरोसा दिलाते हैं कि हर वादा पूरा किया जाएगा। इसीलिए वही वादा किया है जो पूरा किया जा सके।
घोषणापत्र समिति के अध्यक्ष मुरली मनोहर जोशी ने सवालों के जवाब में कहा कि राम मंदिर हमारे लिए संस्कृति से जुड़ा विषय है और संविधान के दायरे में रहकर हर संभावनाएं तलाशी जाएंगी। दरअसल मोदी ने इसका संकेत भी उसी वक्त दे दिया था, जब उन्होंने शिवालय से पहले शौचालय की बात कही थी। रामसेतु, गंगा और गाय भी सांस्कृतिक विषय है। लेकिन समान आचार संहिता पर पार्टी ने स्पष्ट किया कि जबतक यह नहीं किया जाता है, देश में लिंग समानता भी नहीं लाई जा सकती है। लिहाजा, भाजपा इसके लिए प्रयास करेगी। वैसे पार्टी की प्राथमिकताएं विकास से जुड़ी योजनाएं हैं। यही कारण है कि अटल बिहारी वाजपेयी सरकार की नदी जोड़ो योजना से लेकर हर राज्य में एम्स जैसे संस्थान बनाने, तेज रफ्तार रेल नेटवर्क बनाने, मदरसा से भी मांग होने पर विज्ञान और गणित के शिक्षक नियुक्त करने, हर घर में पानी पहुंचाने जैसे उन मुद्दों को छुआ, जो हर घर के लिए मुद्दा हो।
'मैं तीन बातें कहूंगा। जो जिम्मेदारी दी जाएगी उसे निभाऊंगा, अपने लिए कुछ नहीं करूंगा और बद नीयत से कोई काम नहीं होगा।'-नरेंद्र मोदी, भाजपा के पीएम प्रत्याशी
'बतौर अध्यक्ष मैं यह भरोसा दिलाता हूं कि घोषणापत्र में शामिल हर वादा पूरा करेंगे।'-राजनाथ सिंह, भाजपा अध्यक्ष
घोषणापत्र के महत्वपूर्ण बिंदू:
1. महंगाई से निपटने के लिए विशेष फंड
2. दाम स्थिर रखने के लिए विशेष फंड
3. फसल उत्पादन के लिए रियल टाइम डाटा
4. कालेधन को लाने के लिए विशेष कानून
5. कालाबाजारी रोकने के लिए विशेष अदालतें बनेंगी
6. अयोध्या में राममंदिर बनेगा
7. विदेशी किराना खुदरा में नहीं
8. भ्रष्टाचार रोकने के लिए ई-गवर्नेस
9. रोजगार केंद्र को करियर सेंटर बनाया जाएगा
10. आतंकवाद रोकने के लिए कानून बनेगा
11. कर प्रणाली को आसान बनाया जाएगा
12. स्वर्णिम चतुर्भुज बुलेट ट्रेन योजना
13. एफसीआई को तीन भागों में बांटा जाएगा
14. सस्ते घर की योजना शुरू की जाएगी
15. सेटेलाइट नेटवर्क का विकास होगा
16. हर गांव में ऑप्टिकल फाइबर
17. देशभर में गैस ग्रिड की स्थापना
18. किसानों के लिए कृषि रेल मार्ग की स्थापना
19. मनरेगा को कृषि से जोड़ा जाएगा
20. हर घर में नल की योजना
21. नदियों को जोड़ने की योजना
22. कम पानी से ज्यादा उत्पादन के लिए सिंचाई के नए साधन विकसित किए जाएंगे
23. नई स्वास्थ्य नीति बनाएगी जाएगी
24. हर राज्य में एम्स की स्थापना
25. आयुर्वेद के विकास पर खास ध्यान दिया जाएगा
26. छात्रों के लिए नेशनल ई-लाइबेरी बनाई जाएगी
27. छात्रों के विकास के लिए जरूरी कदम उठाए जाएंगे
28. शिक्षण संस्थाओं के स्तर को सुधारने पर जोर
29. ई-लर्निग पर विशेष ध्यान दिया जाएगा
30. 100 नए शहर बसाए जाएंगे
31. मदरसों का आधुनिकरण किया जाएगा
32. भाषाओं का विकास किया जाएगा
33. पूर्वी और पश्चिमी भारत में अंतर मिटाया जाएगा
34. हिमालयी राज्यों के विकास के लिए विशेष ध्यान दिया जाएगा
35. समस्या के हिसाब से राज्यों के लिए योजना।
आवरण पृष्ठ भी कुछ कहता है
नई दिल्ली [जाब्यू]। भाजपा के घोषणा पत्र के साथ-साथ उसका आवरण पृष्ठ भी एक संदेश दे रहा है। इस बार के घोषणा पत्र में ऊपर बायीं ओर अटल, आडवाणी के साथ डॉ. मुरली मनोहर जोशी की भी फोटो है, लेकिन उसका क्रम अध्यक्ष राजनाथ सिंह के बाद है। घोषणा पत्र में नरेंद्र मोदी की फोटो प्रमुखता से दिखनी ही थी और वह दिख भी रही है। उनके एक तरफ सुषमा हैं और दूसरी ओर अरुण जेटली। इसके अलावा शिवराज सिंह, रमन सिंह, वसुंधरा राजे सिंधिया और मनोहर पर्रिकर की फोटो को भी आवरण पृष्ठ पर स्थान मिला है। 2014 के घोषणा पत्र के विपरीत 2009 के घोषणा पत्र के आवरण में केवल अटल, आडवाणी और राजनाथ सिंह के फोटो थे। राजनाथ तब भी पार्टी अध्यक्ष थे।
2009 के घोषणा पत्र में सुशासन, विकास के साथ सुरक्षा पर जोर था। इस बार एक भारत श्रेष्ठ भारत नारे के साथ सबका साथ-सबका विकास की बात कही गई है। 2009 में भाजपा का घोषणा पत्र 50 पेज का था। इस बार 60 पेज का है, जबकि कांग्रेस का केवल 25 पेज का, जो 26 मार्च को जारी किया गया था। 2009 में भी कांग्रेस ने भाजपा से पहले अपना घोषणा पत्र जारी कर दिया था। तब भाजपा ने इतनी देर नहीं लगाई थी। उसने पहले चरण के मतदान के 13 दिन पहले ही घोषणा पत्र जारी कर दिया था। इस बार वह घोषणा पत्र तब जारी कर सकी जब पहले चरण का मतदान शुरू हो गया था।
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भाजपा के घोषणापत्र में राम मंदिर जैसे विवादित मुद्दे भी शामिल
Monday, 07 April 2014
http://www.jansatta.com/index.php?option=com_content&view=article&id=64072:2014-04-07-06-21-43&catid=1:2009-08-27-03-35-27
नई दिल्ली। भाजपा ने अपने चुनावी घोषणापत्र में अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण, जम्मू कश्मीर से धारा 370 हटाने और समान नागरिक संहिता जैसे मुद्दों को शामिल करते हुए लोगों से इन्हें पूरा करने का वायदा किया है ।

भाजपा के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी एवं अन्य नेताओं द्वारा आज यहां पार्टी मुख्यालय में जारी किए गए 52 पन्नों के घोषणापत्र में सुशासन और समेकित विकास देने का भी वायदा किया गया है ।
एक पखवाड़े के विलम्ब से जारी घोषणापत्र में कहा गया है, ‘‘भाजपा अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण के लिए संविधान के दायरे में सभी संभावनाओं को तलाशने के अपने रूख को दोहराती है ।’’
राम मंदिर मुद्दे को शामिल करने पर पार्टी के भीतर मतभेदों की खबरों के बारे में पूछे जाने पर घोषणापत्र समिति के अध्यक्ष मुरली मनोहर जोशी ने कहा, ‘‘यदि आप अपनी सोच के हिसाब से कुछ लिखना चाहते हैं तो आप ऐसा करने को स्वतंत्र हैं ।’’

9 चरण में हो रहे लोकसभा चुनाव के पहले दिन घोषणापत्र जारी करने के लिए उसके विरोधी दलों ने आलोचना की है ।
ऐसी अटकलें थीं कि जोशी द्वारा तैयार किए गए मसौदे के कुछ बिन्दुओं पर मोदी को आपत्ति थी और वर्तमान में प्रचार अभियान में विकास पर मोदी के जोर के मद्देनजर संघ परिवार के पसंदीदा विषय इसमें शामिल नहीं होंगे ।
यह पूछे जाने पर कि क्या पार्टी राम मंदिर के मुद्दे को शामिल कर मतदाताओं को भ्रमित करने की कोशिश कर रही है और क्या इसे हिन्दुत्व के मुद्दे को फिर से उठाना कहा जा सकता है, जोशी ने कहा, ‘‘इसका हिन्दुत्व या किसी अन्य चीज से कोई लेना देना नहीं है । यह केवल विकास के कार्यक्रम का वायदा है ।’’
उन्होंने कहा कि हिन्दुत्व कभी भी चुनावी मुद्दा नहीं रहा है और घोषणापत्र विकास तथा सुशासन के मुद्दों पर आधारित है ।
जोशी ने राम मंदिर के वायदे के संदर्भ में कहा, ‘‘हमने इसे ‘‘सांस्कृतिक विरासत’’ के खंड में रखा है । हमारे लिए जो सांस्कृतिक रूप से महत्वपूर्ण है, वह हमने कहा है ।’’ उन्होंने कहा कि यह मुद्दा पार्टी के पूर्व के घोषणापत्रों में भी शामिल किया जाता रहा है और पार्टी का रूख बदला नहीं है ।
समान नागरिक संहिता के मुद्दे पर घोषणापत्र में कहा गया, ‘‘ संविधान की धारा 44 में समान नागरिक संहिता राज्य नीति के निर्देशक सिद्धांतों के रूप में दर्ज की गई है। भाजपा का मानना है कि जब तक भारत में समान नागरिक संहिता को अपनाया नहीं जाता है, तब तक लैंगिक समानता कायम नहीं हो सकती है। समान नागरिक संहिता सभी महिलाओं के अधिकारों की रक्षा करती है। भाजपा सर्वश्रेष्ठ परंपराओं से प्रेरित समान नागरिक संहिता बनाने को कटिबद्ध है जिसमें उन परंपराओं को आधुनिक समय की जरूरतों के मुताबिक ढाला जाएगा।’’
जम्मू कश्मीर का उल्लेख करते हुए घोषणापत्र में साफ तौर पर कहा गया कि इस प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा देने वाली धारा 370 का हटाने के अपने दृष्टिकोण पर पार्टी कायम है और रहेगी।
इसमें कहा गया कि कश्मीरी पंडितों की अपने पर्वूजों की भूमि में ससम्मान, सुरक्षित और सुनिश्चित आजीविका के साथ वापसी सुनिश्चित करना भाजपा के एजेंडे में उच्च स्थान पर रहेगा।
रामसेतु के संदर्भ में घोषणापत्र में कहा गया कि यह देश की सांस्कृतिक विरासत का अंग है और थोरियम भंडारों के कारण इसका सामरिक महत्व भी है। सेतु समु्रदम परियोजना पर निर्णय लेते समय इन तथ्यों पर विचार किया जाएगा।
संप्रग-1 और संप्रग-2 के दस साल के शासनकाल को ‘‘गिरावट का दशक’’ बताते हुए कहा कि इस दौरान भारत में हर प्रकार की समस्याओं से निपटने में गिरावट आई है। चाहे वह शासन हो, आर्थिक स्थिति हो, राजनयिक अपमान हो, विदेश नीति की असफलता हो, सीमापार घुसपैठ हो, भ्रष्टाचार और घोटाले हों या महिलाओें के साथ होने वाले अपराध हों।
इसमें कहा गया, सरकार प्रतिदिन दुविधा में ही पड़ी रही जिसके कारण देश पर निराशा और विनाश के बादल मंडराते रहे जबकि राजग शासन के समय भारत को ‘उभरती हुई महाशक्ति’ कहा जाने लगा था।
इसके अनुसार, संप्रग शासन ने देश के सामने मौजूद महत्वपूर्ण और तात्कालिक स्थिति पर ही नहीं पड़ी बल्कि इससे देश की दीर्घकालिक क्षमताओं पर भी बुरा असर डाला। लोग कुंठित महसूस कर रहे हैं और उनका विश्वास व्यवस्था से हट गया है। भाजपा इन सारे मसलों का हल प्राथमिकता के आधार पर निकालने के लिए त्वरित और निर्णायक कदम उठाएगी।
अल्पसंख्यकों से घोषणापत्र में वादा किया गया कि उनके जीवन स्तर को उच्च्ंचा उठाने और उद्योग के क्षेत्र में उनके लिए सुविधाएं उपलब्ध करायी जाएंगी।
इसमें कहा गया, ‘‘ यह दुर्भाग्य की बात है कि आजादी के इतने बरसों बाद भी अल्पसंख्यकों का एक बड़ा समूह , विशेषकर मुस्लिम समुदाय गरीबी रेखा के नीचे जीवनयापन कर रहा है ।
आधुनिक भारत समान अवसर वाला होना चाहिए । भाजपा यह सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है कि भारत के विकास में सभी समुदायों की समान भागीदारी होनी चाहिए।
इसमें कहा गया, ‘‘ हमारा विश्वास है कि अगर कोई समुदाय पीछे छूट गया तो भारत प्रगति नहीं कर सकता ।’’
काले धन के बारे में घोषणापत्र में कहा गया कि भाजपा की सरकार आने पर भ्रष्टाचार की गुंजाइश न्यूनतम करके ऐसी स्थिति पैदा की जाएगी कि काला धन पैदा ही ना होने पाए। इसमें यह वादा भी किया गया कि आने वाली भाजपा सरकार विदेशी बैंकों और समुद्र पार के खातों में जमा काले धन का पता लगाने और उसे वापस लाने के लिए हरसंभव प्रयास करेगी।
उसने वादा किया कि काले धन को वापस भारत लाने के कार्य को प्राथमिकता के आधार पर किया जाएगा।
केंद्र और राज्यों के संबंध में भाजपा ने वादा किया कि एक विविधतापूर्ण देश होने के कारण भारत के अलग अलग क्षेत्रों में रहने वाले विभिन्न समुदायों की अपनी आकांक्षाएं होती हैं । ऐस में केंद्र और राज्यों को ऐसा कार्यतंत्र बनाना होगा जिससे आपसी रिश्ते सद्भावपूर्ण हों और हर राज्य की स्वाभाविक परेशानियां व्यापक रूप से निपटायी जा सकें ।
इसमें कहा गया, ‘‘ टीम इंडिया प्रधानमंत्री के नेतृत्व में दिल्ली में बैठी टीम ही नहीं होगी बल्कि मुख्यमंत्रियों और अन्य अधिकारियों को भी इसमें समान भागीदार बनाया जाएगा।
सत्ता में आने पर भाजपा ने अपने घोषणापत्र में तेज रफ्तार बुलेट ट्रेनों का जाल बिछाने के लिए एक महत्वाकांक्षी ‘हीरक चतुर्भुज रेल परियोजना ’ शुरू करने की घोषणा की।
इसमें कहा गया कि देश की जीवन रेखा भारतीय रेल को यात्रियों की सुविधा और देश की अर्थव्यवस्था के विकास को ध्यान में रखते हुए बनाया जाएगा ना कि राजनीतिक उद्देश्यों की पूर्ति के लिए ।
खुली सरकार और जवाबदेह शासन का वादा करते हुए घोषणापत्र में कहा गया कि प्रशासनिक सुधार भाजपा के लिए प्राथमिकता होंगे । सत्ता में आने पर भाजपा सरकार इसका क्रियान्वयन प्रधानमंत्री कार्यालय के तहत एक उचित संस्था के जरिए करेगी।
इसका उद्देश्य सरकार की निर्णय प्रक्रिया में पारदर्शिता लाना होगा।
चुनाव सुधारों की बात करते हुए पार्टी ने कहा कि सत्ता में आने पर वह अपराधियों को राजनीति से बाहर करने और विधानसभाओं तथा लोकसभा के चुनाव एक साथ कराने का तंत्र विकसित करने के लिए दूसरे दलों के साथ विचार विमर्श करेगी। उसका कहना है कि इससे सरकार और राजनीतिक दलों का खर्च कम होगा और राज्य सरकार में थोड़ी स्थिरता भी आएगी।
खाद्य सुरक्षा का भरोसा दिलाते हुए घोषणापत्र में कहा गया कि यह सुनिश्चित किया जाएगा कि इस योजना का लाभ आम आदमी तक पहुंचे और भोजन का अधिकार सिर्फ कागज पर बना एक कानून या राजनीतिक नारा भर न रह जाए।
खेलकूद में भारत के अच्छा प्रदर्शन नहीं करने की शिकायत करते हुए भाजपा ने घोषणापत्र में ‘‘एक राष्ट्रीय खेलकूद प्रतिभा खोज प्रणाली’’ शुरू करने की बात कही। इसमें कहा गया कि इस क्षेत्र को आगे बढ़ाने के लिए संगठित तरीके से निवेश करने की जरूरत है । उसने कहा कि वह सत्ता में आने पर तमाम खेलों, पारंपरिक एवं आधुनिक का समर्थन करेगी।
महिलाओं के सशक्तिकरण और कल्याण को उच्च प्राथमिकता देने की बात कहते हुए घोषणापत्र में कहा गया कि बालिका समृद्धि , लाडली लक्ष्मी और चिरंजीवी योजना जैसी पहले की सफल योजनाओं की सर्वोत्तम बातों को शामिल करके एक व्यापक योजना तैयार की जाएगी जिससे कन्याओं के प्रति परिवारों में सकारात्मक प्रवृति को बढ़ावा मिले ।
घोषणापत्र में हर घर को , हर खेत को और हर कारखाने को पानी उपलब्ध कराने का वादा करते हुए कहा कि हर खेत को पानी देने के उद्देश्य से ‘‘प्रधानमंत्री ग्राम सिंचाई योजना’’ का शुभारंभ किया जाएगा ।
नदियों को जोड़ने के बारे में अपने पिछले रूख में परिवर्तन करते हुए पार्टी ने कहा ,‘‘ व्यावहारिकता के आधार पर नदियों को आपस में जोड़ने पर विचार होगा।’’
संप्रग सरकार की कर नीति को ‘‘टैक्स आतंकवाद’’ का नाम देते हुए भाजपा के घोषणापत्र में कहा गया कि इसने अनिश्चितता बढ़ाने का काम किया है जिसके कारण व्यापारी वर्ग में एक प्रकार की हताशा आयी है और निवेश के वातावरण पर नकारात्मक प्रभाव पड़ा है ।
इसके साथ ही इससे देश की साख पर भी बट्टा लगा है । पार्टी ने कहा कि सत्ता में आने पर वह कर प्रणाली को तार्किक और आसान बनाएगी और विवादों के निपटारे के लिए तंत्र विकसित करेगी।
प्रत्यक्ष विदेशी निवेश के बारे में इसमें कहा गया कि मल्टी ब्रांड खुदरा निवेश में वह एफडीआई का समर्थन नहीं करेगी और एफडीआई की केवल उन्हीं क्षेत्रों में अनुमति दी जाएगी जहां नौकरी और पूंजी का निर्माण हो सके या जहां आधारभूत ढांचे के लिए तकनीकी और विशेषज्ञ ज्ञान की आवश्यकता हो ।
पार्टी ने कहा कि वह छोटे और मंझौले दुकानदारों के हित संरक्षण के लिए प्रतिबद्ध है ।
(भाषा)

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