प्रधानमंत्री मोदी के साथ मिलकर इन भ्रष्टाचारियों के फन को कुचलना है- उमा भारती



प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने ‘सांपों के बिलों’ में हाथ डाल दिया है : उमा भारती
भाषा, अंतिम अपडेट: सोमवार 21 नवम्बर  2016

1-उमा ने नोटबंदी की बावत पूछे गए सवालों के जवाब में कहा
2-नोटबंदी के फैसले से अब यह सभी सांप बौखलाये हुए हैं
3-प्रधानमंत्री के साथ मिलकर इन भ्रष्टाचारियों के फन को कुचलना है.

मेरठ: केन्द्रीय जल संसाधन, नदी विकास एवं गंगा संरक्षण मंत्री उमा भारती ने रविवार को मेरठ में कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 1000 और 500 के नोट बंद कर ‘सांपों के बिलों’ में हाथ डाल दिया है.

यहां गांव मुजक्कीपुर में एक कार्यक्रम में संवाददाताओं से उमा ने नोटबंदी की बावत पूछे गए सवालों के जवाब में कहा कि नोटबंदी के फैसले से अब यह सभी सांप बौखलाये हुए हैं और अपना-अपना फन उठाये हुए हैं, पूरे देश की जनता को अब प्रधानमंत्री के साथ मिलकर इन भ्रष्टाचारियों के फन को कुचलना है.

उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री के इस फैसले से आम आदमी को नहीं बल्कि आम आदमी पार्टी को परेशानी हो रही है. आम जनता इस फैसले की अहमियत जानती है और वह इससे खुश है. भ्रष्टाचारियों और काले धन वालों से निकलने वाले इस धन का उपयोग गरीबों के हित में ही सरकार द्वारा किया जाएगा.

केन्द्रीय मंत्री ने विपक्षी दलों द्वारा लगाये जा रहे आरोपों पर कहा कि विपक्ष का आरोप है कि विदेशों से काला धन केन्द्र सरकार नहीं लायी, जबकि विदेशों में जमा काला धन विभिन्न रास्तों के माध्यम से भारत में आ चुका है. इस काले धन से बेनामी संपत्ति बन गई हैं.


उन्होंने कहा कि बुलंदशहर गैंगरेप कांड एक शर्मनाक घटना है. लेकिन उत्तर प्रदेश में इस कांड के तीन आरोपियों को जमानत मिल गई और वह जेल से बाहर आ चुके हैं. इसके लिए वह प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव और नेताजी से पूछती है कि क्या यही प्रदेश की कानून व्यवस्था है, जहां पर सरेआम हाईवे पर मां-बेटी की इज्जत लूटने वालों को भी बड़े आराम से जमानत मिल जाती है.

गंगा सफाई के बारे में केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि वह गंगा और उसकी सहायक नदियों को साफ करने में जुटी हैं और शीघ्र ही गंगा विश्व की दस सबसे साफ नदियों में शामिल हो जाएगी. तीन साल में एक करोड़ हेक्टेयर जमीन को सिचिंत किया जाएगा. उनका प्रयास रहेगा कि वह हिंडन नदी पर आचार संहिता लगने से पहले ही सफाई का काम प्रारम्भ करा दें.

टिप्पणियाँ

इन्हे भी पढे़....

तेरा वैभव अमर रहे माँ, हम दिन चार रहें न रहे।

6 दिसंबर : राष्ट्रीय और सांस्कृतिक स्वाभिमान के पुनरोदय का ऐतिहासिक दिन 6 December

‘‘भूरेटिया नी मानू रे’’: अंग्रेजों तुम्हारी नहीं मानूंगा - गोविन्द गुरू

पत्नी को रोते और बच्चों को बिलखते हुए छोड़ कर निकले थे अयोध्या कारसेवा को - अरविन्द सिसोदिया bjp rajasthan kota

कण कण सूं गूंजे, जय जय राजस्थान

सेंगर राजपूतों का इतिहास एवं विकास

रामलला : 27 साल 3 महीने 18 दिन तंबू में किसके कारण ?

हमारा देश “भारतवर्ष” : जम्बू दीपे भरत खण्डे

भारतीय नववर्ष का शुभारम्भ :23 मार्च 2012 से

छत्रपति शिवाजी : सिसोदिया राजपूत वंश