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अराजकता, क़ानून एवं व्यवस्था विरोधी एवं दुष्प्रचार फैलाने वाले तत्वों पर कठोर कार्यवाही हेतु निवेदन।

सेवा में, माननीय प्रधानमंत्री महोदय, माननीय रक्षामंत्री महोदय, माननीय गृहमंत्री महोदय, माननीय विधि एवं क़ानून मंत्री महोदय, माननीय सूचना एवं प्रौद्योगिकी मंत्री महोदय, भारत सरकार, नई दिल्ली। विषय : अराजकता, क़ानून एवं व्यवस्था विरोधी एवं दुष्प्रचार फैलाने वाले तत्वों पर कठोर कार्यवाही हेतु निवेदन। मान्यवर, हाल के दिनों में सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म्स (विशेषकर फेसबुक, यूट्यूब एवं अन्य सोसल साइडस के खातों) पर भ्रामक, असत्य एवं भड़काऊ सामग्री का प्रसार तेज़ी से बढ़ा आई है। इस तरह के बहुतसारे एकाउन्टस देखे जा सकते हैँ जो कहीं न कहीं से प्रायोजित व सरकार के विरुद्ध व्यापक वातावरण पूरे देश में खड़ा करने के प्रयास से हैँ।सेंसर या फ़िल्टर की जो कोई व्यवस्था हैँ वे कारगर नहीं होनें से ये साइट्स देश विरोधी और व्यवस्था विरोधी तत्वों के लिये, अत्यंत सरल और स्वछंद साधन बन गई है। ये युद्ध से भी अधिक खतरनाक आपराधिकता उत्पन्न कर रहे हैँ। यह गत आठ नौ महीने में ही भारत में भी सोसल मीडिया साइडस पर अति हो रही है और सोसल मीडिया संचालकों को इसकी कोई चिंता नहीं कि उनके प्लेटफार्म किसी देश की आंतरिक व्यवस्था को खतर...

कविता - मानवता के दीप जलाओ

 "पाँच दीप मानवता के" 🎶 प्रारंभिक कोरस (सभी मिलकर) दीप जलाओ, दीप जलाओ, जीवन में उजियारा लाओ। स्वस्थ तन, निर्मल मन पाओ, दीपावली का अर्थ समझाओ। 🌼 --- 🪔 पहला दीप – निरोगी काया पहला धन है तन का स्वास्थ्य, यही अमृत, यही है साध्य। रोग मिटे जब मन से प्यारे, जीवन खिल उठे सितारे। (सहगान) सेहत में ही सुख समाए, तन निरोगी दीप जलाए! --- 💧 दूसरा दीप – स्वच्छ शरीर साफ-सुथरा तन है पूजा, स्वच्छता ही जीवन दूजा। मैल हटाओ, मन नहलाओ, हर दिन दीप सरीखा बनाओ। (सहगान) शुद्ध तन में मन भी खिले, स्वच्छ भारत दीप जले! --- 💰 तीसरा दीप – धन और साधन परिश्रम का ही सच्चा धन, मेहनत से बनता जीवन। संसाधन हों न्याय के संग, तभी बचे समाज का रंग। (सहगान) कर्म ही धन, कर्म ही दान, यही है लक्ष्मी का सम्मान! --- 🌳 चौथा दीप – पर्यावरण रक्षा हरियाली है जीवन प्यारा, पेड़ों से मिलता उजियारा। प्रकृति की सेवा धर्म बना दो, धरती को फिर स्वर्ग बना दो। (सहगान) पौधे बन दीप जलाओ, प्रकृति माँ को गले लगाओ! --- 👩‍❤️‍👨 पाँचवाँ दीप – भाई-बहन का प्रेम पाँचवाँ धन, निश्छल अपनापन, भाई-बहन का सच्चा बंधन। स्नेह की ज्योति, प्रेम का दीप,...

My Gov बहु संरक्षण अधिनियम

बहु एवं बालिका सम्मान एवं संरक्षण अधिनियम, 2025 (Draft Law) धारा 1: उद्देश्य इस अधिनियम का उद्देश्य है: 1. उन बहुओं की सुरक्षा करना जिनके परिवार में दो या दो से अधिक बेटियाँ हुई हैं। 2. समाज में लड़कियों के प्रति भेदभाव और हेय दृष्टिकोण को समाप्त करना। 3. उत्पीड़न, मानसिक या सामाजिक दबाव डालने वालों के विरुद्ध कानूनी कार्रवाई सुनिश्चित करना। 4. प्रभावित बहुओं को सुरक्षा, मानसिक और सामाजिक समर्थन प्रदान करना। धारा 2: परिभाषाएँ 1. बहु: वह महिला जो किसी परिवार में पत्नी के रूप में प्रवेश करती है। 2. हेय दृष्टि/भेदभाव: बहु को उसके बच्चों के लिंग के कारण ताने, अपमान, सामाजिक बहिष्कार, आर्थिक शोषण, मानसिक या शारीरिक उत्पीड़न। 3. सखी मॉनिटर: प्रत्येक पंचायत और वार्ड पार्षद क्षेत्र में नियुक्त महिला कार्यकर्ता जो महिला समस्याओं की निगरानी, रिपोर्टिंग और समर्थन का कार्य करती है। धारा 3: बहु एवं बालिका संरक्षण प्रकोष्ठ 1. राज्य सरकार हर जिले में "बहु एवं बालिका संरक्षण प्रकोष्ठ" स्थापित करेगी। 2. प्रकोष्ठ के कर्तव्य: प्रभावित बहुओं से संपर्क करना और उनका मानसिक, सामाजिक व कानूनी समर्थन...

कविता और व्यंग " हर साल रावण कद बढ़ाता है "

कविता और व्यंग " हर साल रावण कद बढ़ाता है " - अरविन्द सिसोदिया    9414180151 हर साल रावण कद बढ़ाता है, कमीशन के चक़्कर में! हर साल रावण जलता है, रंग-बिरंगी लपटों के आँगन में, रावण को लेकर छपती खबरें चुटकीले अंदाजों में, हर साल रावण कद बढ़ाता है, कमीशन के चक़्कर में! ---1--- राम ठिठके छोटे से, सोचते यह कैसा रावण दहन है! भ्रष्टाचार की विजय का यह महिमामंडन है, बिलिंग और पेमेंट की धधकती ज्वाला है, इसी का यह रंग-बिरंगा उजियारा है। ---2--- सुनहरे दावे, मीठे भाषण, पर काम असली रावण का, अट्टहास करता रावण कहता, राम कहां? सब कुछ मेरे पाले का । रिश्वत, लालच, स्वार्थ अब बसता, अब आयोजन में, सत्य की आँखें झपकती हैं, धर्म चुपचाप खड़ा धमाकों में। ---3--- चलो आज प्रतिज्ञा करें, बाहर और भीतर के रावण को जलाएँंगे, भ्रष्टाचार और लालच को पोल खोल मिटाएँंगे। राम का कद बढ़े, लक्ष्मण सा हो भाईचारा, अब न कोई दशरथ मरें, न भटके सीता माता। अपनत्व के बंधन को बढ़ाएँ, यही धर्म की गाथा। ----4--- हर साल रावण क्यों बढ़े?  हम देखें कद श्रीराम का, सत्य, धर्म और ईमानदारी के राजसिंहासन का। विजय तो अवगुणों पर पानी है,...

जनहित में चिकित्सा क्षेत्र, हिन्दी का उपयोग अनिवार्य करें - अरविन्द सिसोदिया

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Medical and health  जनहित में चिकित्सा क्षेत्र, हिन्दी का उपयोग अनिवार्य करें - अरविन्द सिसोदिया चिकित्सा क्षेत्र संवैधानिक राजभाषा हिन्दी को अपनाये - अरविन्द सिसोदिया  कोटा, 9 अक्टूबर 2025। राजस्थान राज्य पाठ्यपुस्तक मंडल के शिक्षा प्रोत्साहन प्रन्यासी अरविन्द सिसोदिया ने कहा है कि एलोपैथिक एवं आधुनिक चिकित्सा क्षेत्र में आमजन की समझ में आने वाली स्वदेशी हिन्दी सहित प्रमुख भारतीय भाषाओं को अपनाना अब राष्ट्रीय आवश्यकता है। यह हेतु चरणबद्ध प्रभावी सुधार कार्यक्रम अपनाया जाना चाहिए। " सिसोदिया ने " केंद्र सरकार के माननीय प्रधानमंत्री, माननीय गृह मंत्री, माननीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री, माननीय रसायन एवं उर्वरक मंत्री, औषधि महानियंत्रक भारत सरकार तथा मुख्यमंत्री राजस्थान को ध्यानाकर्षण पत्र लिखकर आग्रह किया है कि एलोपैथिक दवाओं की पैकेजिंग, लेबलिंग, मात्रा निर्देश, सावधानियाँ एवं उपयोग संबंधी समस्त सूचनाएँ हिन्दी सहित प्रमुख प्रांतीय भाषाओं में अनिवार्य किया जाये ।" उन्होंने कहा कि “भारत को स्वतंत्र हुए 75 वर्ष से अधिक हो चुके हैं, किंतु स्वदेशी भाषाओं...

इंडी गठबंधन के संरक्षण में पश्चिम बंगाल भाजपा पर हिंसक हमला,लोकतंत्र को कुचलने की साजिश - अरविन्द सिसोदिया bjp rajasthan

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इंडी गठबंधन के संरक्षण में पश्चिम बंगाल भाजपा पर हिंसक हमला,लोकतंत्र को कुचलने की साजिश - अरविन्द सिसोदिया कोटा, 7 अक्टूबर। भारतीय जनता पार्टी राजस्थान के मीडिया संपर्क विभाग के प्रदेश सह-संयोजक अरविन्द सिसोदिया ने पश्चिम बंगाल में भाजपा नेताओं पर हुए बर्बर एवं खूनी हमले की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि यह हमला न केवल भाजपा के नेताओं पर, बल्कि भारत के लोकतंत्र की आत्मा पर सीधा प्रहार है। " उन्होंने कहा कि " भाजपा के पश्चिम बंगाल प्रदेश अध्यक्ष एवं सांसद समिक भट्टाचार्य, विधायक शंकर घोष और आदिवासी समुदाय से दो बार सांसद रह चुके खगेन मुर्मू पर हुआ क्रूर और संगठित खूनी हमला, ममता सरकार और इंडी गठबंधन की असंवेदनशीलता और विफल शासन व्यवस्था का प्रमाण है।" सिसोदिया ने कहा, “ हमले में घायल भाजपा नेताओं के खून से लथपथ चेहरे और वीडियो देखकर हर संवेदनशील व्यक्ती हृदय विचलित हो उठता है, केवल पत्थरदिल ममता सरकार और इंडी गठबंधन ही, संवेदनशीलता से परे इससे अप्रभावित है। यदि इस राज्य में सांसद और विधायक तक सुरक्षित नहीं हैं, तो आम नागरिकों की स्थिति का अंदाजा सहज लगाया जा सकता ...

My Gov दवा लेबलिंग में स्थानीय भाषा का उपयोग हो

जब कोई भी व्यक्ती दवा का निर्माण कर रहा है, व्यापार कर रहा है या वितरण कर रहा है। इन तीनों स्टेजों पर यह सुनिश्चित होना चाहिए कि दवा सिर्फ दवा हो। उसके उपयोग की विधि स्थानीय भाषाओं में स्पष्ट हो... कितनी मात्रा लेनी है, कब एक्सीपायरी डेट है आदि आदि की जानकारी उपयोग कर्ता की समझ में आनी चाहिए। ताजुब्ब है देश आज भी अंग्रेजी भाषा का गुलाम क्यों बनाया हुआ है। इस हेतु व्यापक क़ानून व नियम होनें चाहिए। जो उपयोगकर्ता की समझ व हितों की रक्षा करें। सच तो यह है कि डॉक्टर का पर्चा और जांच रिपोर्ट भी अजूबे से कम नहीं, ये उपयोगकर्ता की समझ से परे हैँ। सरकारों को नियम बनाना चाहिए कि उपयोगकर्ताओं को उनकी भाषा में भी जानकारी दी जा सके। ----------///---------- दवा उपयोगकर्ता अधिकार संरक्षण एवं सूचना अधिनियम, 2025 (प्रस्तावित मसौदा) प्रस्तावना यह अधिनियम दवाओं के निर्माण, व्यापार, वितरण एवं उपयोग की प्रक्रिया में पारदर्शिता, उपभोक्ता की समझ, और उनके अधिकारों की रक्षा हेतु बनाया गया है। इसका उद्देश्य है कि हर व्यक्ति को उसकी भाषा में दवा संबंधी जानकारी सुलभ और स्पष्ट रूप से प्राप्त हो। --- धारा 1: संक्षिप...

कविता - दीपक बनो प्रकाश करो

कविता - दीपक बनो प्रकाश करो  ✍️ अरविन्द सीसौदिया, कोटा 9414180151  मर्यादा के दिये बनें , पावनता का तेल भरें , निश्छल प्रेम की बाती से, आशाओं का प्रकाश फैलाना है । जब हवाएं तेज़ चलें, तो भी तुम मत डरना, अंधियारा चाहे कितना घना हो, दीपक बनकर हराना है । विश्वास का प्रकाश फैलाओ, निराशा के तम को हराओ, एक किरण भी काफी होती, घनघोर अंधकार हराने को। जल कर बुझ जाएँ तो क्या, कर्मों की गंध सदा रहेगी, त्याग की आभा से जग में, नई प्रेरणा पुनः जन्मेगी ! भोर के उजियारे तक़ , हर मन में नव चेतना बनी रहे, हमारे प्रकाश की किरणों से , दूर घना अँधियारा होता जाये । आओ चलो बनें ओ दीपक साथीयों , अंधकार में पथ को आलोकित करना है , स्वार्थ नहीं, समर्पण से जीवन है , मानवता का प्रकाश बन पथ प्रदर्शन करना है। ---

My Gov गंभीर अपराधियों को विधानमंडल से बाहर रखने का क़ानून

🏛️ नीति-संक्षेप (Policy Brief) विषय: गंभीर अपराधियों और आरोपितों को कानून बनाने वाली संस्थाओं (संसद/ विधानसभाओं से बाहर रखने का क़ानून )  🔹 पृष्ठभूमि भारत की संसद और विधानसभाओं में कई सदस्यों पर गंभीर आपराधिक मामले लंबित हैं। इनमें हत्या, बलात्कार, अपहरण, भ्रष्टाचार, और संगठित अपराध जैसे आरोप शामिल हैं। यह स्थिति लोकतंत्र के मूल सिद्धांत — “निर्दोष, ईमानदार और जनहितकारी शासन” — के विपरीत है। देश बार-बार यह शर्मिंदगी झेल चुका है कि अपराधी प्रवृत्ति के लोग कानून बनाने वाली संस्थाओं में बैठते हैं। अब आवश्यक है कि एक सख़्त, स्पष्ट और न्यायसंगत नीति बने जो अपराधियों को राजनीति से दूर रखे। --- 🔹 नीति का उद्देश्य 1. गंभीर अपराधों के दोषियों को चुनाव लड़ने से रोकना। 2. अपराध प्रवृत्ति वाले उम्मीदवारों (जिनके खिलाफ अनेक संज्ञेय मामले हैं) की उम्मीदवारी रोकना। 3. जनता के सामने उम्मीदवारों का आपराधिक रिकॉर्ड पारदर्शी रूप से उपलब्ध कराना। 4. राजनीतिक दलों को जवाबदेह बनाना कि वे अपराधियों को टिकट न दें। --- 🔹 मुख्य प्रस्ताव 1. निर्वाचनीयता निषेध (Disqualification Criteria) हत्या, बलात्कार, आ...

स्वदेशी वस्तुओं को अपनाने के संकल्प पत्र को लेकर घर घर पहुंचेगी भाजपा - राकेश जैन bjp kota

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पत्रकारवार्ता में मंचस्थ रहे विधानसभा सभापति एवं विधायक संदीप शर्मा मुख्यवक्ता, शहर जिला अध्यक्ष राकेश जैन स्वागतकर्ता, वरिष्ठ भाजपा नेता पंकज मेहता, पंडित गोविन्द शर्मा एवं भाजपा मीडिया संपर्क विभाग प्रदेश सहसंयोजक अरविन्द सिसोदिया संचालनकर्ता नें आत्मनिर्भर भारत संकल्प अभियान के संकल्पपत्र का विमोचन किया.... संकल्प पत्र का विमोचन किया  मैं भारत माता की सेवा और सम्मान के लिए यह संकल्प लेता/लेती हूँ कि- 1- अपने दैनिक जीवन में अधिकतम भारतीय उत्पादों का उपयोग करूंगा/करूँगी और आयातित वस्तुओं की जगह देसी विकल्प अपनाऊँगा /अपनाऊँगी। 2- घर, काम और समाज में भारतीय उत्पादों को प्राथमिकता दूँगा / दूँगी और गाँव, किसान तथा कारीगरों का समर्थन कर स्थानीय उद्योग को बढ़ावा दूंगा/दूँगी। 3- युवाओं और बच्चों को स्वदेशी अपनाने के लिए प्रेरित कर, नई पीढ़ी तक इसका महत्व पहुँचाऊंगा/पहुँचाऊंगी। 4- पारिवारिक और सामाजिक जीवन में भारतीय भाषाओं का प्रयोग करूंगा/करूँगी। 5- पर्यावरण के प्रति सजग रहकर स्वदेशी और प्रकृति-अनुकूल नाम संकल्पकर्ता  पता / मोबाईल  ------   भाजपा शहर जिला अध्य...

आत्मनिर्भर भारत का निर्माण ही हमारी भावी पीढ़ी की सुरक्षा - विधायक संदीप शर्मा

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आत्मनिर्भर भारत का निर्माण ही हमारी भावी पीढ़ी की सुरक्षा - विधायक संदीप शर्मा  स्वदेशी वस्तुओं को अपनाने का संकल्प लेकर भाजपा घर घर पहुंचेगी - राकेश जैन  पत्रकारवार्ता में मंचस्थ विधानसभा सभापति एवं विधायक संदीप शर्मा मुख्यवक्ता, शहर जिला अध्यक्ष राकेश जैन स्वागतकर्ता, वरिष्ठ भाजपा नेता पंकज मेहता, पंडित गोविन्द शर्मा एवं भाजपा मीडिया संपर्क विभाग प्रदेश सहसंयोजक अरविन्द सिसोदिया संचालनकर्ता रहे। अतिथि स्वागत जिला महामंत्री रितेश चित्तौडा, शलेन्द्र ऋषि, अभियान के सहसंयोजक जितेंद्र खजाँची, राजेंद्र गुप्ता एवं प्रवक्ता प्रणय दुबे नें किया। इस दौरान प्रवक्ता जगदीश मोईल, अमित सेन,महेश आहूजा, अशोक जैन एवं भील और युवा प्रमुख रोहित चंदेल प्रमुखरूप से रहे। आत्मनिर्भर भारत संकल्प अभियान हेतु पत्रकार वार्ता   माननीय सभापति एवं विधायक कोटा दक्षिण संदीप शर्मा नें अपने संबोधन में विस्तार से भाजपा सरकारों में किये गये आधारभूत विकास पर बताया कि :-  आत्मनिर्भर भारत की नींव आदरणीय अटल बिहारी वाजपेयी जी ने प्रधानमंत्री रहते हुए डाली गईं थी, उन्होंने विकसित राष्ट्र के लिए ...

युवा क्रान्तिकारी डॉ केशव बलिराम हेडगेवार RSS

युवा क्रान्तिकारी डॉ केशव बलिराम हेडगेवार                         प्रो गीताराम शर्मा, कोटा                     कोई छोटा सा मेघखण्ड कथमपि विराट सूर्यमण्डल को तो नहीं ढक सकता लेकिन जिसकी आंखें मेघखण्ड से ढकी हों और उसे अमित तेजस्वी सूर्य दिखाई नहीं दे तो उससे सूर्य का तेज तो कम नहीं हो जाता |ऐसी ही मन:स्थिति तब होती है जब स्वतन्त्रता आन्दोलन में डॉ बलिराम हेडगेवार और संघ की भूमिका से पूर्णत: अनभिज्ञ किन्तु हठात् ज्ञानाभिमानपोषी कुतर्क यदा कदा सुनायी देते हैं |स्वतन्त्रता आन्दोलन की समग्र चर्या के अध्येता सम्यक् प्रकार से यह जानते हैं कि डॉ केशव बलिराम हेडगेवार में राष्ट्र भक्ति के संस्कार मानो जन्मजात ही अनुस्यूत थे जो स्वतंत्रता आन्दोलन का संसर्ग पाकर विराट रुप में प्रस्फुटित होने लगे थे | कुछ प्रतिनिधि घटनाओं से उनके स्वातन्त्र्य चेतना विषयक संस्कारों से साक्षात् संभव है यथा- 22 जून 1897 की घटना है जब ब्रिटेन की महारानी विक्टोरिया के राज्यारोहण के साठ वर्ष पूर्ण होने के उ...

असंभव को संभव करने का पुरुषार्थ "राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ"

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असंभव को संभव करने का पुरुषार्थ "राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ" लेख - अरविन्द सिसोदिया, कोटा राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आर.एस.एस.), जिसे सामान्य रूप से "संघ" कहा जाता है, न केवल भारत का बल्कि विश्व का सबसे बड़ा स्वयंसेवी संगठन है। यह संगठन अपने कठोर अनुशासन, पूर्ण समर्पण के साथ त्याग, तपस्या और बलिदान के लिए जाना जाता है। संघ ने पिछले 100 वर्षों में यह सिद्ध कर दिया है कि कठिन से कठिन परिस्थितियों में भी एक स्वयंसेवक अपने आत्मविश्वास से तय लक्ष्य को प्राप्त करके ही रुकता है। उसके लिए कोई भी लक्ष्य असंभव नहीं है। लक्ष्य प्रप्ति से पहले उसे कोई भी बाधा रोक नहीं सकती। जिस तरह हनुमानजी अपराजेय हैँ, उसी तरह संघ का स्वयंसेवक अपराजेय है। संघ की सबसे बड़ी विशेषता यह रही है कि जिस हिंदू समाज को "असंगठित, कमजोर और परस्पर विभाजित" माना जाता था, जो सहस्रों वर्षों से आंतरिक फूट के कारण पराजित होता रहा और विदेशी शासन का शिकार बनता रहा, उसी हिंदू समाज को संघ ने संगठित कर उसमें स्वाभिमान और आत्मविश्वास जगाया तथा उसे पुनः विश्व की सर्वश्रेष्ठ सभ्यता का अग्रदूत बनाया। य...

कविता - जब वीर स्वयंसेवक बढ़ता है

कविता - पुरुषार्थ का गीत – जब वीर स्वयंसेवक बढ़ता है (ध्रुवपंक्ति / मुखड़ा) जब लक्ष्य लिए वीर स्वयंसेवक बढ़ता है, वह भारत का बल बुद्धि शौर्य जगाता है। पुरषार्थ का दीप बन, असंभव का अंधकार मिटाता है॥ --- (अंतर 1) विभाजन की वे पीड़ाएँ, आशायें उनकी बुझी हुईं थीं , शिविर बनाकर सेवायें दी, अपनत्व और ममत्व से उनको  जीने की नई राह दिखाता है । --- (अंतर 2) जब दंगों की लपटें उठतीं, विभाजन से रक्तरंजित धरती थी, राहत-दल बन स्वयंसेवक, गली गली का प्रहरी था ॥ --- (अंतर 3) आपातकाल के बंधन में, जब सत्य-द्वार बंद हुआ, भूमिगत रह संघर्ष किया, नई सुबह का उदय किया ॥ --- (अंतर 4) कश्मीर से लेकर गोवा तक, अखंडता का संघर्ष था  बलिदानों की गाथाये है, 370 की बेड़ी टूटी, यह संघ-पुरुषार्थ की गाथा है॥ --- (अंतर 5) रामलला का धाम खड़ा, आस्था का आलंबन है, अयोध्या की ध्वजा लहराती, वीरत्व स्वयं का दर्पण है॥ --- (अंतर 6) न झुकेंगे, न रुकेंगे हम, लक्ष्य पहले हांसिल करेंगे. संघ-व्रत यही महान है, भारत माँ की अखंड ज्योति, हर स्वयंसेवक के प्राण ॥ --- (अंतिम अंतरा) जय-जय करती मां भारती , जन जन उतारे पावन आरती। संघ अमर , ...

संघ है तो भारत सुरक्षित है, सनातन सुव्यवस्थित है, स्वाभिमान प्रफुल्लित है

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संघ है तो भारत सुरक्षित है, सनातन सुव्यवस्थित है, स्वाभिमान प्रफुल्लित है आरएसएस के स्थापना दिवस विजयादसमी पर विशेष आलेख संघ है तो भारत सुरक्षित है, सनातन सुव्यवस्थित है, स्वाभिमान प्रफुल्लित है लेखक – अरविन्द सिसोदिया, कोटा हिंदुस्तान लगभग तीन हजार सालों से विदेशी हमलावरों के आक्रमण झेलता रहा है। इनमें से कुछ ने हमें पराधीन बनाया, कुछ लूटकर चले गए और कुछ हममें ही विलीन हो गए। इस दौरान जबरन हिंसक और क्रूर धर्मांतरण ने हिंदुस्तान को बहुत नुकसान पहुंचाया। अखंड भारत के लगभग 95 प्रतिशत से अधिक मुस्लिम और ईसाई हिंदुओं की ही संतानें हैं। उनके पुरखे हिंदू ही थे। जबरन उनकी पूजा पद्धति भले ही बदली, मगर उनके पूर्वज कभी नहीं बदले जा सकते। एक समय भविष्य में आएगा जब सब कुछ फिर से एकात्म होगा। किन्तु जहाँ-जहाँ हिंदू जनसंख्या कम हुई, वह हिस्सा देश से अलग हो गया।  हिंदू संस्कृति में वीरता और पुरुषार्थ को ही सुरक्षा के लिए सर्वोपरी माना गया है, प्रथम महत्व दिया गया है। इसी कारण अधिकांश सनातन देवी-देवताओं के हाथों में शस्त्र और शास्त्र हैं। इसी वीरता के कारण हमारी संस्कृति का...