78 प्रतिशत लोगों को राजस्थान में रिश्वत देनी पड़ती है - ड़ा सतीश पूनिया dr satish poonia
हाड़ौती में कांग्रेस सरकार पर गरजे डॉ. सतीश पूनियां, कितना ह्रदय विदारक होगा कि भीलवाड़ा में एक जिंदा बालिका को गैंगरेप कर भट्टी में झोंक दिया, यह उस समय हुआ है जब सरकार जन सम्मान का वीडियो कॉन्टेस्ट कर रही है
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सतीश पूनियां ने हाड़ौती के वरिष्ठ नेता
प्रेम नारायण गालव को बारां पहुँचकर श्रद्धांजलि अर्पित की
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सवा करोड़ युवाओं ने परीक्षा दी, मां-बाप मेहनत मजदूरी करके अपने बच्चे को कोचिंग में पढ़ने के लिए भेजते हैं, परीक्षा केंद्र पर जब बच्चा पहुंचता है तो पता लगता है कि पेपर लीक हो गया: डॉ. पूनियां
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कांग्रेस सरकार माफियाओं से घिरी हुई है, खनन माफिया, भू माफिया, पेपर लीक माफिया, यह मैं नहीं कह रहा, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता भरत सिंह की चिट्ठियां कहती हैं: डॉ. पूनियां
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78% लोगों को राजस्थान में रिश्वत देनी पड़ती है, जैसे होटल रेस्टोरेंट का मेन्यू कार्ड होता है, उस तर्ज पर कांग्रेस शासन में भ्रष्टाचार का मेन्यू कार्ड, अपराध का मेन्यू कार्ड है कि आप रेट बताइए और काम करवाइए: डॉ. पूनियां
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बारां, 03 अगस्त, 2023। हाड़ौती प्रवास पर राजस्थान विधानसभा उपनेता प्रतिपक्ष एवं भाजपा पूर्व प्रदेशाध्यक्ष डॉ. सतीश पूनियां ने बारां पहुंचकर
भाजपा बारां के पूर्व जिलाध्यक्ष एवं वरिष्ठ नागरिक कल्याण बोर्ड के पूर्व चेयरमैन प्रेम नारायण गालव के आकस्मिक निधन पर श्रद्धांजलि अर्पित कर परिजनों को ढांढस बंधाया।
श्रद्धांजलि सभा को संबोधित करते हुए डॉ. पूनियां ने कहा कि, प्रेम नारायण गालव का जनसंघ से लेकर भाजपा की नींव को हाड़ौती में मजबूत करने में आजीवन महत्वपूर्ण योगदान रहा।
मुझे पार्टी में सौभाग्य मिला तीन पीढ़ी के साथ काम करने का, जब युवा मोर्चा में काम करने के लिए आया तो स्वर्गीय ललित किशोर चतुर्वेदी, स्वर्गीय रघुवीर कौशल जैसे वरिष्ठ नेताओं के साथ काम करने और सीखने मुझे अवसर मिला।
बारां जब पहली बार युवा मोर्चा के कार्य से आया तो जिन शख्स से पहली बार मुलाकात हुई वह प्रेम नारायण गालव थे, उसके बाद पार्टी में काम करते हुए किसी ना किसी कार्यक्रम के नाते उनसे लगातार मिलना होता रहा, मैं यह कहूं कि वह बारां जिले के पितृपुरुष थे तो कोई अतिशयोक्ति नहीं होगी, उनके व्यक्तित्व की सहजता और सरलता हमेशा कार्यकर्ताओं को प्रेरित करती रही।
राजनीति में व्यक्ति अपने आचरण, व्यवहार और नैतिकता से कैसे लोगों का दिल जीत सकता है, ऐसे व्यक्तित्व के धनी थे प्रेम नारायण गालव।
साथ में विधायक मदन दिलावर, संदीप शर्मा, पूर्व मंत्री बाबूलाल वर्मा, पूर्व विधायक हेमराज मीणा, जिला अध्यक्ष कृष्ण कुमार सोनी, मुकुट नागर, आनंद गर्ग इत्यादि मौजूद रहे।
इससे पहले कोटा सर्किट हाउस में प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए सतीश पूनियां ने कहा कि, आज सुबह अखबार की सुर्खियां देखी, एक बार फिर से दिल दहल गया, भीलवाड़ा जिले में एक 14 साल की बालिका को भट्टी में झोंक दिया गया, यह उस समय हुआ है जब कांग्रेस सरकार जन सम्मान का वीडियो कॉन्टेस्ट कर रही है, जब सरकार 100 यूनिट फ्री बिजली और 500 रुपये सिलेंडर का ढिंढोरा पीट रही है।
दूसरी तरफ वह परिवार जिनके आंसू सूखे नहीं हैं, कितना ह्रदय विदारक होगा कि एक जिंदा बालिका को पहले गैंगरेप और फिर भट्टी में झोंक देना, मुझे लगता है कि मानवता को शर्मसार करने वाला तो है ही, लेकिन यह पहली घटना नहीं है।
इस सरकार के गठन के बाद थानागाजी की गैंगरेप की घटना ने प्रदेश को शर्मसार किया, यह भी मान लिया कि समाज की विकृति है, लेकिन समाज की विकृति पर शासन का रुतबा किस काम आएगा, सरकार का इकबाल किस काम आएगा?
लोगों को ध्यान होगा कि जयपुर में भूख से बिलखती हुई कोई अबला जब एंबुलेंस चालक से रोटी मांगती है तो अस्मत लूट ली जाती है।
क्या मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के नारे इस तरीके की घटनाओं को रोक पाएंगे? राजस्थान के थानों के बाहर एक पंचलाइन लिखी होती है, अपराधियों में भय और आमजन में विश्वास, लेकिन पौने 5 वर्षों में 10 लाख 92 हजार मुकदमे, प्रतिदिन औसतन 17 बलात्कार और 7 हत्याएं, क्या इस पंचलाइन को सार्थक करती हैं?
इसलिए किसी आम आदमी के मन में यह वेदना अक्सर उभर आती है कि यह पंचलाइन बदल देनी चाहिए, क्योंकि अपराधियों में हौसला है और आमजन में भय है, यदि अपराधियों में यह हौसला नहीं होता तो यह बलात्कार का सिलसिला जारी नहीं होता।
मैं अभी रास्ते में आ रहा था तो किसी कार्यकर्ता ने बताया कि कोटा में एक नौजवान ने अवसाद में आकर आत्महत्या कर ली, उसके परिजनों का आरोप है कि बेरोजगारी और कर्जे के कारण तंग था, ऐसे लगभग 2100 नौजवानों ने राजस्थान में सुसाइड किया है, 28 प्रतिशत सर्वाधिक बेरोजगारी राजस्थान में है और उस पर पेपर लीक का दंश।
आप कल्पना करिए कि सवा करोड़ युवाओं ने परीक्षा दी, कोई मां-बाप मेहनत मजदूरी करके अपने बच्चे को कोचिंग में पढ़ने के लिए भेजता है और परीक्षा केंद्र पर जब बच्चा पहुंचता है तो पता लगता है कि पेपर लीक हो गया।
इस तरीके की अनेकों घटनाएं हैं, जिसके कारण अवसाद में आकर उनको जिंदगियां खोनी पड़ी। क्या अशोक गहलोत का कॉन्टेस्ट उनकी जिंदगी लौटा पाएगा?
राजस्थान की सरकार यह दावा करती है, मुख्यमंत्री ने कहा, कांग्रेस के जन घोषणा पत्र में उल्लेख हुआ, राहुल गांधी के भाषणों में भी उल्लेख हुआ कि 10 दिन में किसानों का कर्जा माफ करेंगे, 1700 दिन से अधिक हो गए लेकिन वादा पूरा नहीं किया, इसी वजह से राजस्थान के सैकड़ों किसानों ने सुसाइड कर लिया।
किसानों के वीडियो हैं, सुसाइड नोट हैं, यह मैं नहीं कह रहा, राज्य सरकार ने हमारे ही सवाल के जवाब में कहा कि 19422 किसानों की जमीनें कुर्क हो गईं कर्जे के कारण।
जो सरकार जीरो टॉलरेंस की बात करती है, हाथ कंगन को आरसी क्या, मुख्यमंत्री को पब्लिक डोमेन में लोगों ने कहा कि राजस्थान में हमें काम के बदले रिश्वत देनी पड़ती है।
करप्शन सर्वे और ट्रांसपरेन्सी इंटरनेशनल की रिपोर्ट कहती है कि 78% लोगों को राजस्थान में रिश्वत देनी पड़ती है, जैसे होटल रेस्टोरेंट का मेन्यू कार्ड होता है, उस तर्ज पर कांग्रेस शासन में भ्रष्टाचार का मेन्यू कार्ड, अपराध का मेन्यू कार्ड है कि आप रेट बताइए और काम करवाइए।
किस तरीके से माफियाओं से घिरी हुई है सरकार, खनन माफिया, भू माफिया, पेपर लीक माफिया, शराब माफिया, यह मैं नहीं कह रहा, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता भरत सिंह की चिट्ठियां कहती हैं।
कांग्रेस के सीनियर लीडर रामनारायण मीणा के सदन में कहे गए वक्तव्य और दिव्या मदेरणा खुद स्वास्थ्य व्यवस्था को चुनौती देती हैं, उन्हीं की सरकार के लोग सरकार पर सवाल खड़े करते हैं।
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