भारत के भाग्य विधाता और वरदान है मोदी - अरविन्द सिसौदिया

 भारत का भाग्य विधाता और वरदान है मोदी - अरविन्द  सिसौदिया

देश का मान सम्मान है मोदी
करते जो सारे समाधान है मोदी
निर्णयों की खान है मोदी
निरन्तर करते काम है मोदी।
इसीलिये तो परिणाम है मोदी।
देश जिनको करता प्रणाम है मोदी
दुश्मन भी करता सलाम है मोदी।
भारत का भाग्य विधाता और वरदान है मोदी! 

भारत का भाग्य विधाता और वरदान है मोदी - अरविन्द सिसौदिया


भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने प्रधानमंत्री के रूप में 8 वर्ष पूरे किए, इन 8 वर्षों में बहुत कुछ बदल गया है। भारत बदल गया,भारत का मान सम्मान ही बदल गया, दुनिया के तमाम देशों के द्वारा भारत को देखने का नजरिया भी बदल गया ।

यह तब हुआ जब भारत भी अपने स्वाभिमान से,अपने आत्मसम्मान से, अपनी सफलताओं से, अपने परिश्रम
से विश्व को दिशा देने का काम कर रहा है। वह एक प्रकार से वर्तमान विश्व का विश्व गुरु बन गया है।

इन सबके अतिरिक्त आज पूरे विश्व में जो बडे राजनीतिक नेतृत्व करता हैं, उनके वर्तमान सर्वे में सबसे लोकप्रिय,सबसे प्रतिष्ठित,सबसे अधिक अच्छे और परिणाम देने वाले, नेतृत्वकर्ता के रूप में भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने आप को साबित किया है। इसीलिये दुनिया की तमाम बड़ी हस्तियों और बड़े राष्ट्रों के राष्ट्राध्यक्ष को पीछे छोड़ कर वे सबसे आगे हैं।

   यह सब बातें यूं ही नहीं है इसके पीछे तथ्य यह है कि मोदी जी 24 घंटे के दिन में 18 घंटे सिर्फ और सिर्फ देश की ही सोचते हैं। देशहित पर ही विश्लेशण करते है। चिन्तन मनन और मन्थन करते हैं। उनकी बौद्धिक क्षमता का ही कमाल है कि उनके सही निर्णय साबित होते हैं। सही परिणाम देनें वाले होते हैं। इसीलिए नरेंद्र मोदी के 8 साल का प्रधानमंत्री के रूप में कार्यकाल ने भारत का न केबल कायाकल्प किया है, बल्कि पिछले हजारों  सालों के धूमिल इतिहास को फिर से गौरवान्वित होनें का अवसर दिया है।
modee sarakaar ke 8 saal : aath bade saahasee nirnay
मोदी सरकार के 8 साल : आठ बड़े साहसी निर्णय
https://arvindsisodiakota.blogspot.com/2022/05/8-modi-sarakaar-ke-8-saal.html
8 years of Modi government: Eight bold decisions

एक समय था जब भारत को दुनिया में कोई बहुत बड़ी ताकत के रूप में नहीं देखा जाता था, प्रत्येक क्षैत्र में पिछडापन व्याप्त रहता था। सिर उठा कर विकसित देशों के मध्य भारत बात नहीं करपाता था। यहां तक कि पड़ोसी पाकिस्तान भारत के साथ जब चाहे, जैसा चाहे दुर्व्यवहार करता रहता था। आज पाकिस्तान नाम की चीज को भारतवासी भूल चुके हैं। वह भारत के सामनें हर मामले में पिद्दी ...साबित होता है।

एक समय भारत में आतंकवाद हमले, आतंकी गतिविधयां और साम्प्रदायिक दंगों के पीछे पाकिस्तानी दिमाग की पाकिस्तानी योजनाएं लगभग निरंतर संचालित होती रहती थी और हमारी तत्कालीन सरकारें । सिर्फ निंदा प्रसताव पारित करने तक सीमित होती थीं। सही बात तो यह है कि उनके खिलाफ बोलनें में भी हिचकती थीं। उनके आतंकी सरगनाओं को जी और साहब कहते थे।

   भारतीयों के खून से सने भारत के तमाम नगरों को भी भारत ने देखा है। तब की सरकारें बदला भी नहीं ले पाती थी और सही तरीके से उनके विरुद्ध ठोस कानूनी कार्रवाई भी नहीं कर पाती थीं।

यह पहला अवसर है कि अब भारत कायर भारत है। वह साहसी भारत है में बदला गया है। बदला लेने वाला भारत,सबक सिखाने वाला भारत बन चुका है। में एक बैठक सम्बोधित करने एक मण्डल में गया हुआ था, एक कार्यकर्ता ने कहा “ हमने जिन्दगी में पहली बार सुना है कि चीन शिकायत कर रहा है कि भारत हमारे क्षैत्र में घुस आया! भारत के सैनिक उनके सैनिकों को आंख दिखा रहे हैं!! वर्ना सारी जिन्दगी चीन ने यह कर लिया चीन ने वो कर लिया यही सुनते हुये गुजर गई! ”

    इतना ही नहीं भारत अब दुनिया के किसी देश के दबाव में नहीं आता, अमेरिका से भी बराबरी से बात करता है, रूस से भी बराबरी से बात करता है और चीन को सीमा पर धकियानें की ताकत रखता है।

   इन आठ सालों में भारत मैं बहुत कुछ बदल गया,भारत बदल रहा,भारत, भारत बन रहा है। यह सब भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की इच्छाशक्ति के कारण हो रहा है । अन्यथा लोकसभा और राज्यसभा में बहुमत तो पंडित जवाहरलाल नेहरू को भी मिलता रहा और श्रीमती इंदिरा गांधी को भी मिलता है रहा है। हमने नेहरूजी को चीन से हारते देखा है तो इन्दिरा गांधी जी को बांगलादेश युद्ध के बाद , पाकिस्तान के 95 हजार सैनिक हमारे बंदी होनें के बाद भी, अपना कश्मीरी भूभाग वापस लिये बिना, सब कुछ लौटाते देखा है। यह इंन्दिराजी की सैनिको जीत को कूटनीति की टेबिल पर पाकिस्तान से बडी हार थी।

    कांग्रेस ने भारत को भारत नहीं बनाया,भारत के गौरव को,भारत के आत्मसम्मान को नहीं बडाया। भारत की आंतरिक सुद्ड़ता पर,सीमाओं की मजबूती पर कभी ध्यान ही नहीं दिया, संसाधन नहीं बनायें,आधुनिक हथियारों की हमेशा कमी रहती थी। सुरक्षा की जरूरी व्यवस्थाओं तक पर कभी ध्यान नहीं दिया।

   पंण्डित जवाहरलाल नेहरू, श्रीमती इंदिरा गांधी जैसे मजबूत प्रधानमंत्रीयों के होते हुये भी, भारत तमाम भौतिक संसाधनों की सांख्यकि के विषयों के विदेशी से निचली पायदानों पर ही रहता था। वह कभी भारत के रूप् में उभरा ही नहीं।

मगर पिछले 8 वर्षों में जो बदलाव हुआ है , यही है भारत आधुनिक बना है । भारत के सांस्कृतिक गौरव को कांग्रेस ने कभी भी न्याय नहीं दिया आज भारत के सांस्कृतिक क्षैत्र को न्याय मिल रहा है। भारत वैज्ञानिक क्षेत्र में आगे बढ़ रहा है। भारत उत्पादन के क्षेत्र में आगे बढ़ रहा है । सीमाओं की सुरक्षा के मामले में मजबूत हुआ है। दुश्मन को सबक सिखाने के मामले में मजबूत हुआ है । पूरा विश्व मान रहा है कि भारत में घुसनें वाले किसी भी विदेशी आतंकवादी की आयु अब सिर्फ कुछ दिन की होती है।

   भारत में एक देश के रूप में अब चलना सीख लिया है। वह मार्ग तय कर रहा है, स्वाभिमान और सम्मान का प्रारंभ हो चुका है। भव्यता और दिव्यता को स्थापित कर रहा है।

भारत एक राष्ट्र के रूप में दुनिया के अन्य बड़े राष्ट्रों को दिशा दे रहा है, अपनी दशा सुधार रहा है। दूसरों को भी दशा सुधारने की प्रेरणा दे रहा है। कठिन से कठिन समस्याओं और बड़े-बड़े षडयंत्रों को पराजित करते हुए भारत एक विजय राष्ट्र के रूप में चल रहा है। वह अब समस्याओं का समाधान करने वाला देश है। यह सब वह अपनी प्राचीन अदम्य साहस की  जिजीविषा के साथ के अमृतमयी अनुभव के आधार पर जीवंत जीवन जीने वाला राष्ट्र फिर से बन रहा है ।

मात्र 8 वर्ष में विराट उपलब्धियों के लिए हमें भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी को कोटि कोटि, कोटि कोटि धन्यवाद ज्ञापित करना ही चाहिए और इसके वे हकदार हैं । जय भारत । जय हिंद ।।
 

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